अब अस्पतालों और बीमा कंपनियों को बताना होगा खर्च का ब्योरा, US कोर्ट ने सुनाया फैसला

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अमेरिका में अस्पतालों और बीमा कंपनियों को खर्च का ब्योरा बताना होगा। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैली मेकनैनी ने एक बयान में कहा, ‘‘अस्पतालों के खर्च में पारदर्शिता लाने का यह परिवर्तनकारी फैसला होगा। इसके लिए हर मोर्चे पर लड़ा गया।’’

वाशिंगटन।अमेरिका की एक संघीय अदालत ने अस्पतालों और बीमा कंपनियों को सामान्य जांच और प्रक्रियाओं में होने वाले वास्तविक खर्च की जानकारी मुहैया कराने का आदेश देने संबंधी संघीय प्रशासन की योजना के पक्ष में फैसला सुनाया है। व्हाइट हाउस ने इस फैसले का स्वागत किया है। अमेरिकन हॉस्पिटल एसोसिएशन ने अमेरिका के राषट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के नेतृत्व वाले प्रशासन की इस योजना को अदालत में चुनौती दी थी। फैसले में कहा गया है कि अस्पताल के साथ स्वास्थ्य बीमा कंपनियों को खर्च का ब्योरा बताना होगा।

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यह एक जनवरी 2021 से प्रभावी होगा। व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव कैली मेकनैनी ने एक बयान में कहा, ‘‘अस्पतालों के खर्च में पारदर्शिता लाने का यह परिवर्तनकारी फैसला होगा। इसके लिए हर मोर्चे पर लड़ा गया।’’ उन्होंने कहा कि अदालत के फैसले से अमेरिकी लोगों को यह भरोसा होगा कि राष्ट्रपति ट्रंप ‘‘मरीजों को अंधेरे में रखने वालों के निहित स्वार्थ’’ के आगे नहीं झुकेंगे। अमेरिकन हॉस्पिटल एसोसिएशन (एएचए) की वकील मेलिंडा हैटन ने कहा कि वह खर्च के ब्योरे में पारदर्शिता लाने और मरीजों को इसकी जानकारी दिए जाने का समर्थन करती हैं लेकिन वह फैसले से खुश नहीं हैं। उन्होंने कहा कि एएचए का मानना है कि इससे मरीजों को कोई मदद नहीं मिलेगी, बल्कि इससे भ्रम पैदा होगा। बीमा कंपनियों ने भी इस फैसले का विरोध किया है।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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