क्या आपने उन्हें कभी गंभीर राजनीति करते देखा है? राहुल गांधी पर निशिकांत दुबे का वार

निशिकांत दुबे ने कहा कि अगर कोई सदस्य बोलना चाहता है, तो उसे सदन में बैठना चाहिए। मुझे लगता है कि उन्होंने नियम नहीं पढ़े हैं। उन्हें सीखना चाहिए कि सरकार कैसे काम करती है, और उन्हें यह मल्लिकार्जुन खड़गे से सीखना चाहिए, अगर किसी और से नहीं।
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर तगड़ा वार किया है। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी देश के इतिहास में एकमात्र ऐसे विपक्ष के नेता हैं, जिन्हें देश के हितों से कोई लेना-देना नहीं है। क्या आपने उन्हें कभी गंभीर राजनीति करते देखा है? दुबे ने आगे कहा कि वह मुश्किल से दो मिनट के लिए मीडिया के सामने आते हैं। कई सत्रों में उनकी उपस्थिति शून्य रही है। संसद के कुछ नियम और आचार संहिताएँ होती हैं। नियम 349 के अनुसार, कोई भी सदस्य सदन में बोलने के तुरंत बाद सदन नहीं छोड़ सकता।
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निशिकांत दुबे ने कहा कि अगर कोई सदस्य बोलना चाहता है, तो उसे सदन में बैठना चाहिए। मुझे लगता है कि उन्होंने नियम नहीं पढ़े हैं। उन्हें सीखना चाहिए कि सरकार कैसे काम करती है, और उन्हें यह मल्लिकार्जुन खड़गे से सीखना चाहिए, अगर किसी और से नहीं। प्रोविजनल रिपोर्ट कहती है कि ऑपरेशन सिंदूर में हमारी जीत हुई है। उन्होंने कहा कि स्थाई रिपोर्ट तब बनेगी जब हम पीओके पर कब्ज़ा कर लेंगे। एसआईआर पर उनका बयान दर्शाता है कि उन्हें अपने पिता द्वारा पारित कानून की जानकारी नहीं है। 2003 में भी ऐसा ही एसआईआर किया गया था।
इससे पहले लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने सरकार पर बड़ा आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि सवाल यह है कि रक्षा मंत्री को सदन में बोलने की अनुमति है, लेकिन विपक्ष के सदस्यों, जिनमें मैं भी शामिल हूं, जो विपक्ष का नेता हूं, को बोलने की अनुमति नहीं है। यह एक नया दृष्टिकोण है। परंपरा कहती है कि यदि सरकार की ओर से लोग बोल सकते हैं, तो हमें भी बोलने की जगह दी जानी चाहिए। कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा ने कहा कि अगर वे (सरकार) चर्चा के लिए तैयार हैं, तो उन्हें विपक्ष के नेता को बोलने देना चाहिए। वह बोलने के लिए खड़े हुए हैं, इसलिए उन्हें बोलने दिया जाना चाहिए।
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सपा सांसद राजीव राय ने कहा कि हमारे लिए राष्ट्रहित सर्वोच्च है। पूरा विपक्ष और जनता सशस्त्र बलों और सरकार के साथ खड़ी है। प्रधानमंत्री को देश को बताना चाहिए कि पहलगाम में निर्दोष लोगों की हत्या करने वाले आतंकवादी कहां हैं? सुरक्षा में इस नाकामी की जिम्मेदारी कौन लेगा? ऑपरेशन सिंदूर और पहलगाम हमले पर चर्चा की मांग को लेकर विपक्षी सांसदों के लगातार नारे लगाने के कारण लोकसभा की कार्यवाही 1400 बजे तक स्थगित कर दी गई। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि सरकार किसी भी मुद्दे पर चर्चा के लिए पूरी तरह तैयार है। वहीं, केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि चर्चा के एजेंडे पर निर्णय लेने के लिए 1430 बजे बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक होगी।
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