सियासत की आड़ लेकर समाज में जहर घोलने वाले नेताओं को बर्दाश्त नहीं करेगी करणी सेना

करणी सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष सूरजपाल अम्मू के निर्देश पर उनकी यूपी इकाई के कार्यकर्ताओं ने प्रदेश में और अन्य राज्यों में हो रहे विधानसभा चुनावों के मद्देनजर आपत्तिजनक जातीय, साम्प्रदायिक व दलगत बात बोलने या बोलवाने वाले नेताओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए थानाध्यक्ष, सिंहानी गेट, गाजियाबाद को एक आवेदन पत्र दिया है।
गाजियाबाद। सियासत की आड़ लेकर समाज में जहर घोलने वाले नेताओं, जिसमें संवैधानिक पद पर रह चुके पूर्व डीजीपी तक शामिल हैं, के खिलाफ करणी सेना ने मोर्चा खोल दिया है। करणी सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष सूरजपाल अम्मू के निर्देश पर उनकी यूपी इकाई के कार्यकर्ताओं ने प्रदेश में और अन्य राज्यों में हो रहे विधानसभा चुनावों के मद्देनजर आपत्तिजनक जातीय, साम्प्रदायिक व दलगत बात बोलने या बोलवाने वाले नेताओं के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के लिए थानाध्यक्ष, सिंहानी गेट, गाजियाबाद को एक आवेदन पत्र दिया है, जिसकी प्रतिलिपि केंद्रीय चुनाव आयोग और राज्य चुनाव आयोग को भी भेजी है। इस पत्र की एक प्रति इस वरिष्ठ पत्रकार को भी मिली है। यह आवेदन करनी सेना के प्रदेश अध्यक्ष, उत्तरप्रदेश विवेक राठौर, प्रदेश अध्यक्ष, महिला शक्ति, उत्तरप्रदेश वंदना सेंगर, प्रदेश अध्यक्ष, युवा शक्ति उत्तरप्रदेश शेखर चौहान की ओर से दी गई है।
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प्राथमिकी निवेदन पत्र में थाना इंचार्ज, सिहानी गेट थाना, गाज़ियाबाद, उत्तर प्रदेश को बताया गया है कि एआईएमआईएम सुप्रीमो असदुद्दीन ओवैसी, समाजवादी पार्टी के कैराना इलाके के बाहुबली नेता नाहिद हसन, पंजाब के पूर्व डीजीपी मोहमद मुश्तफा, समाजवादी पार्टी के नेता स्वामी प्रसाद मौर्य, दलित नेता चंद्रशेखर उर्फ रावण आदि द्वारा लोगों को सरेआम जान से मरने की धमकी देने, धार्मिक भावनाएं भड़काने, सरेआम जातिगत जहर घोलने आदि के कार्य किये जा रहे हैं, जो आदर्श चुनाव आचार संहिता का खुल्लमखुल्ला उल्लंघन है। इसलिए इनलोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करके कानूनी कार्यवाही की जाए।
प्राथमिकी निवेदन पत्र में कहा गया है कि हम करनी सेना पंजीकृत के पदाधिकारी के तौर पर उत्तर प्रदेश में कार्य कर रहे हैं। पिछले कई दिनों से उत्तर प्रदेश व पंजाब चुनाव के मद्देनजर एआईएमआईएम नेता असदुद्दीन ओवैसी व समाजवादी पार्टी नेता नाहिद हसन द्वारा सरेआम उत्तर प्रदेश के हिन्दू समुदाय को जान से मरने की धमकी दी जा रही है। असदुद्दीन ओवैसी सरेआम कह रहा है कि जब मोदी जी प्रधान मंत्री व योगी जी मुख्यमंत्री नहीं रहेंगे, तब तुम्हें बचाने कौन आएगा। चिंताजनक पहलू यह है कि हिन्दुओं के खिलाफ अमर्यादित जातिगत व आपत्तिजनक तथा धमकी भरी भाषा का सरेआम प्रयोग किया जा रहा है। असदुद्दीन ओवैसी सरेआम हिन्दुओं की धार्मिक भावनाएं भड़कवाकर साम्प्रदायिक दंगे भड़काना चाहता है तथा हिन्दु लोगों को सरेआम जान से मरने की धमकी दे रहा है। वह चुनावी आचार संहिता की सरेआम धज्जियां उड़ा रहा है। इसलिए उसके व ऐसे सभी अज्ञात लोगों खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की जाए।
करणी सेना के कार्यकर्ताओं ने चुनाव आयोग से ये भी मांग की हैं कि ऐसे लोगों को उत्तर प्रदेश में आने से रोका जाये तथा इन्हें प्रचार से प्रतिबंधित किया जाए, ताकि सामाजिक सौहार्द कायम रह सके। इन कार्यकर्ताओं ने यह भी लिखा है कि समाजवादी पार्टी नेता स्वामी प्रसाद मौर्य, दलित नेता चंद्रशेखर उर्फ रावण भी सरेआम जाति-पाती की अनर्गल बातें करके समाज में जातिगत जहर घोलने का काम कर रहे हैं तथा सामाजिक समरसता को तोड़ने का काम कर रहे हैं। इसलिए इनके खिलाफ भी अपेक्षित समुचित कार्रवाई की जाए।
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दूसरी तरफ पंजाब के पूर्व डीजीपी मोहम्मद मुश्तफा सरे आम पंजाब में कानून का मजाक उड़ा रहे हैं तथा लोगों को खुले आम घर में घुसकर जान से मरने की धमकी दे रहे हैं तथा खुलेआम लोगों की धार्मिक भावनाएं भड़काने का काम कर रहे हैं। इसलिए उपरोक्त सभी दोषियों के खिलाफ जान से मरने की धमकी व आदर्श चुनाव आचार संहिता के खुलेआम उल्लंघन पर तुरंत प्रभाव से मुकदमा दर्ज करके कानूनी कार्यवाही की जाये।
करणी सेना के कार्यकर्ताओं ने मुख्य चुनाव आयुक्त, केंद्रीय चुनाव आयोग, चुनाव आयुक्त, उत्तरप्रदेश राज्य चुनाव आयोग और डीजीपी, उत्तरप्रदेश को भी भेजी गई है।
कमलेश पांडेय
विशेष संवाददाता
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