New Parliament Inauguration के मौके पर बोल रहे PM Modi, कहा- दुनिया भारत को उम्मीद से देख रही है

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रितिका कमठान । May 28 2023 1:13PM

प्रधानमंत्री मोदी देश की नई संसद भवन के उद्घाटन समारोह के खास मौके पर देश को संबोधित कर रहे है। उन्होंने कहा कि देश के विकास की यात्रा में ऐसे पल भी आते हैं जो बेहद ऐतिहासिक होते है। ये सिर्फ भवन नहीं भारत की आकांक्षाओं का प्रतिबिंब भी है।

तमिलनाडु के अधीनम संतों द्वारा पूरे विधि-विधान के साथ अनुष्ठान कराए जाने के बाद नई संसद भवन का उद्घाटन हो चुका है। इस नई संसद भवन में पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपना संबोधन भी दिया। नई संसद के उद्घाटन समारोह के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि देश की यात्रा में कई ऐसे क्षण आते हैं, जो अमर हो जाते है। इतिहास में कुछ तारीखें ऐसे शामिल होती हैं कि वो अमिट हस्ताक्षर बन जाती है। नई संसद भवन का उद्घाटन समारोह भी ऐसा ही अवसर है।

प्रधानमंत्री मोदी देश की संसद के उद्घाटन अवसर पर संसद और देश को संबोधित करते हुए कहा कि देश की आजादी के 75 वर्ष पूरे होने पर देश भर में अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है। उन्होंने कहा सुबह से ही संसद परिसर में सर्वपंथ प्रार्थना की गई है, जिसके लिए मैं सभी देशवासियों को भारतीय लोकतंत्र के इस स्वर्णिम पल की बधाई देता हूं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि ये सिर्फ भवन नहीं बल्कि 140 करोड़ भारतवासियों की आकांक्षाओं और सपनों का प्रतिबिंब है। इस इमारत के उद्घाटन के साथ ही दुनिया को ये पता चल गया है कि भारत की दिशा नई है, दृष्टी नईं है, संकल्प नया है। नए रास्तों पर चलने पर ही नए कीर्तिमान गढ़े जाते है। भारत नया लक्ष्य हासिल कर रहा है। देश भर में नया जोश, नई उमंग, नई सोच और नया विश्वास है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि नए रास्तों पर चलने से ही नए कीर्तिमान गढ़े जाते है। नया भारत नए लक्ष्यों को हासिल कर रहा है। उन्होंने संसद भवन में सेंगोल की स्थापना किए जाने के संबंध में कहा कि चोल साम्राज्य में यही सेंगोल कर्तव्य पथ, सेवा पथ, राष्ट्र पथ के प्रतीक के तौर पर देखा जाता था। सेंगोल ही सत्ता के हस्तांतरण का प्रतीक माना जाता था। तमिलनाडु से खास तौर पर आए हुए अधीनम के संत संसद में आशीर्वाद देने के लिए उपस्थित थे। सेंगोल की स्थापना संसद भवन में उन्हीं के मार्गदर्शन में हुई है।

उन्होंने कहा कि संविधान ही हमारा संकल्प है। अगर ये संकल्प रुकता है जो भाग्य भी रुकता है। जो चलता है उसका भाग्य भी चलता है, इसलिए जरुरी है कि व्यक्ति भी चलता रहे। गुलामी के बाद देश में बहुत कुछ खोकर नई यात्रा आरंभ की थी और इस यात्रा में कई उतार चढ़ा देखने को मिले है। इन अनेकों चुनौतियों को पार कर भारत आजादी के अमृतकाल में पहुंचा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि संसद भवन की नई इमारत को देखकर भारतीय गौरवान्वित हो रहे है। ये नया संसद भवन योजना को यथार्थ से, नीति को निर्माण से, इच्छा शक्ति को क्रिया शक्ति से, संकल्प को सिद्धि से जोड़ने वाली अहम कड़ी साबित होगा। भवन विरासत, वास्तु, कला, कौशल युक्त है, जिसमें संस्कृति की झलक देखने के साथ संविधान को भी शामिल किया गया है। लोकसभा के आंतरिक हिस्से को राष्ट्रीय पक्षी मोर पर आधारित बनाया गया है, जबकि राज्यसभा का हिस्सा राष्ट्रीय फूल कमल पर आधारित है। संसद में राष्ट्रीय वृक्ष बरगद भी है। 

पीएम मोदी ने पेश किया नौ सालों का रिपोर्ट कार्ड
इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को सिर्फ सबसे बड़ा लोकतांत्रिक देश बताया और कहा कि हमारा देश मदर ऑफ डेमोक्रेसी भी है, जिसने वैश्विक लोकतंत्र की नींव रखी है। लोकतंत्र हमारे संस्कार, विचार और परंपरा है। संबधोन के बाद प्रधानमंत्री ने अपने नौ वर्षों का रिपोर्ट कार्ड भी नई संसद में ही पेश किया।

सरकार का रिपोर्ट कार्ड पेश करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बताया कि भारत में बीते नौ वर्षों में नवनिर्माण हुआ है और इस दौरान गरीबों का कल्याण हुआ है। संसद भवन की नई इमारत को देखकर गर्व हो रहा है। हम अपना सिर ऊंचा कर गर्व से कह सकते हैं कि हमें संतोष है कि बीते नौ वर्षों में 11 करोड़ शौचलयों का निर्मण हुआ जिन्होंने महिलाओं की गरिमा की रक्षा की और उनको सम्मान से जीने का हक दिया। बीते नौ साल में गांवों को जोड़ने के लिए चार लाख किमी से ज्यादा सड़कों का निर्माण हुआ। भारत में आज एक ईको फ्रेंडली इमारत बनी है। एक तरफ आज नई संसद भवन का उद्घाटन हो रहा है तो वहीं देश में 30 हजार से ज्यादा नए पंचायत भवन भी बनाए हैं, जिससे साफ होता है कि केंद्र सरकार पंचायत भवन से लेकर संसद भवन तक एक ही निष्ठा और एक प्रेरणा से काम करती है। हमारा एक ही उद्देश्य है देश का विकास, देश के लोगों का विकास। इस भवन के उद्घाटन समारोह में संबोधन के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि यह भवन आधुनिक सुविधाओं और नवीनतम उपकरणों से लैस है। बता दें कि यह भवन आधुनिक सुविधाओं और नवीनतम उपकरणों से युक्त है। इस भवन के निर्माण में 60,000 से अधिक मजदूरों को रोजगार मिला था।

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