शरद यादव को झटका, चुनाव आयोग ने कहा- नीतीश वाला गुट ही जदयू
चुनाव आयोग ने आज कहा कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाला गुट ही जनता दल (यूनाइटेड) है और वह पार्टी चुनाव चिह्न ‘तीर’ का इस्तेमाल करने का हकदार है।
नयी दिल्ली। चुनाव आयोग ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अगुवायी वाले जनता दल (यूनाइटेड) (जदयू) को मान्यता प्रदान की है। आयोग ने इस मामले में जद यू के बागी नेता शरद यादव की अगुवायी वाले गुट के पार्टी के चुनाव चिन्ह पर दावे को खारिज करते हुये कुमार के गुट को ही वास्तविक जदयू बताया है।
पार्टी के चुनाव चिन्ह पर दावे को लेकर कुमार और यादव गुट की अर्जी पर दोनों पक्षों की सुनवाई के बाद आयोग ने अपने आदेश में कहा कि नीतीश गुट के पास पार्टी विधायक दल का पूर्ण समर्थन है। आयोग के इस आदेश के साथ ही बिहार में राज्य स्तरीय मान्यता प्राप्त जदयू पर नीतीश गुट के दावे की पुष्टि हो गयी।
बिहार में सत्तारूढ़ नीतीश गुट द्वारा केन्द्र में सत्तारूढ़ राजग गठबंधन को समर्थन देने के विरोध में शरद गुट ने पार्टी से बगावत कर दी थी। बिहार में विधानसभा चुनाव से पहले जदयू, कांग्रेस और राजद के साथ बने महागठबंधन को नीतीश गुट द्वारा तोड़ कर राजग गठबंधन में शामिल होने का शरद गुट लगातार विरोध कर रहा है। गुजरात से जदयू विधायक छोटूभाई बसावा के नाम से आयोग में शरद गुट ने अर्जी दायर कर पार्टी का चुनाव चिन्ह ‘‘तीर का निशान’’ उनके गुट को आवंटित करने का अनुरोध किया था।
दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद आयोग ने पार्टी के विधायक दल का पूर्ण समर्थन नीतीश गुट के पक्ष में होने के आधार पर राज्य स्तरीय पार्टी के रूप में मान्यता प्राप्त जदयू के चुनाव चिन्ह के इस्तेमाल के लिये नीतीश गुट को अधिकृत बताया। सुनवाई के दौरान शरद गुट ने आयोग के समक्ष पार्टी में संगठन के पदाधिकारियों और प्रदेश इकाईयों का समर्थन होने का दावा करते हुये उनकी अगुवायी वाले गुट को वास्तविक जदयू बताया। आयोग ने आदेश में कहा कि जद यू के अध्यक्ष नीतीश कुमार को पार्टी की बिहार प्रदेश इकाई और विधायक दल का समर्थन हासिल है।
आयोग ने नीतीश गुट की इस दलील को सही माना कि जदयू बिहार की पंजीकृत पार्टी है और इसी राज्य में पार्टी सत्तारूढ़ भी है, इसलिये अन्य राज्यों के बजाय पार्टी की बिहार इकाई और विधायक दल के समर्थन वाले गुट को ही पार्टी का वास्तविक धड़ा माना जाये।
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