मुस्लिम होकर ठाकरे का रोल प्ले करने पर बोले नवाजुद्दीन कहा, ''मैं किसी विचारधारा की पैरवी नहीं करता''
अभिनेता ने कहा, ‘‘मेरी कोई विचारधारा, दर्शन या ऐसी कोई राय नहीं है। मैं जल्दी से कोई धारणा बनाने वाला व्यक्ति नहीं हूं। मैं एक कलाकार हूं और मेरा काम उन किरदारों को निभाना है जो मुझे उत्साहित करें।
मुम्बई। अभिनेता नवाजुद्दीन सिद्दीकी का कहना है कि वह किसी विचारधारा की पैरवी नहीं करते क्योंकि इससे एक कलाकार के तौर पर उनका विकास रुक सकता है। शिवसेना के पूर्व प्रमुख बाल ठाकरे की जीवनी पर आधारित फिल्म ‘ठाकरे’ में वह बालासाहेब की भूमिका में नजर आएंगे। 1960 के दशक में ठाकरे ने ‘‘महाराष्ट्र, महाराष्ट्र वालों के लिए’’ नारे को बुलंद किया था। नवाजुद्दीन ने कहा कि ऐसी कोई भी विचारधारा किसी कलाकार के विकास को बाधित कर सकती है।
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अभिनेता ने कहा, ‘‘मेरी कोई विचारधारा, दर्शन या ऐसी कोई राय नहीं है। मैं जल्दी से कोई धारणा बनाने वाला व्यक्ति नहीं हूं। मैं एक कलाकार हूं और मेरा काम उन किरदारों को निभाना है जो मुझे उत्साहित करें। अगर मेरी कोई एक विचारधारा होगी तो इससे एक कलाकार के तौर पर मेरा विकास बाधित होगा।’’
#ThackerayTheFilm just 2 more days to go @Nawazuddin_S pic.twitter.com/WVSKwzzkAr
— Katrina's Elbow (@KatrinasLoverr) January 23, 2019
'Let your work speak for yourself', this was one of the golden teachings of Balasaheb Thackeray. Hear ace actor, @bindasbhidu talk about the legend in this #IMetThackeray video!#Thackeray #ThackerayTheFilm pic.twitter.com/3vBLU4Ai4b
— Thackeray The Film (@ThackerayFilm) January 22, 2019
— Sujeet Patker (@patker_sujeet) January 20, 2019
नवाजुद्दीन ने कहा कि उन्हें लगता है कि वह खुशकिस्मत हैं कि उन्हें अलग-अलग तरह के किरदार निभाने को मिल रहे हैं। ।अभिनेता ने बालासाहेब से पहले उर्दू लेखक सआदत हसन मंटो का किरदार भी बड़े पर्दे पर निभाया था। फिल्म ‘ठाकरे’ इस शुक्रवार बड़े पर्दे पर रिलीज होगी।
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