सरकार ने भारती इंफ्राटेल के साथ इंडस टावर्स के विलय को मंजूरी दी

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[email protected] । Feb 22 2020 10:13AM

दूरसंचार विभाग ने देश की सबसे बड़ी मोबाइल टावर कंपनी इंडस टावर्स का भारती इंफ्राटेल के साथ विलय की शुक्रवार को मंजूरी दे दी। योजना के अनुसार, संयुक्त कंपनी के पास भारती इंफ्राटेल और इंडस टावर्स के कारोबार का पूर्ण स्वामित्व होगा। कंपनी का नाम बदलकर इंडस टावर्स लिमिटेड हो जायेगा।

नयी दिल्ली। दूरसंचार विभाग ने देश की सबसे बड़ी मोबाइल टावर कंपनी इंडस टावर्स का भारती इंफ्राटेल के साथ विलय की शुक्रवार को मंजूरी दे दी। आधिकारिक सूत्रों ने यह जानकारी दी।  इस विलय के बाद बनने वाली संयुक्त कंपनी के पास देशभर में 1,63,000 से अधिक दूरसंचार टावर हो जाएंगे, जिनका परिचालन सभी 22 दूरसंचार सेवा क्षेत्रों में हो रहा है। विलय से बनने वाली संयुक्त कंपनी चीन को छोड़ शेष विश्व की सबसे बड़ी टावर कंपनी होगी। एक आधिकारिक सूत्र ने कहा, ‘‘दूरसंचार विभाग ने इंडस टावर्स के भारती इंफ्राटेल के साथ विलय को मंजूरी दे दी है।’’

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योजना के अनुसार, संयुक्त कंपनी के पास भारती इंफ्राटेल और इंडस टावर्स के कारोबार का पूर्ण स्वामित्व होगा। कंपनी का नाम बदलकर इंडस टावर्स लिमिटेड हो जायेगा और संयुक्त कंपनी घरेलू शेयर बाजारों में सूचीबद्धता जारी रखेगी। इस सौदे का समय पर पूरा होना काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि इससे भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया के लिये कंपनी में अपनी हिस्सेदारी बेचकर पैसे जुटाने के विकल्प खुलेंगे। इंडस टावर्स में अभी भारती इंफ्राटेल और वोडाफोन समूह की 42-42 प्रतिशत हिस्सेदारी है। इसमें वोडाफोन आइडिया की भी 11.15 प्रतिशत हिस्सेदारी है।

 

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