पाकिस्तान की अदालत ने नवाज शरीफ को भ्रष्टाचार के मामले में पेश होने का दिया आखिरी मौका

nawaz sharif

पाकिस्तान की अदालत ने नवाज शरीफ को भ्रष्टाचार के मामले में पेश होने का आखिरी मौका दिया है।इस्लामाबाद स्थित जवाबदेही अदालत द्वारा तोशाखाना (खजाना) में भ्रष्टाचार मामले में जारी नोटिस को लाहौर के मॉडल टाउन स्थित शरीफ के आवास जट उमरा के सामने सोमवार को चस्पा किया गया।

लाहौर। पाकिस्तान की भ्रष्टाचार निरोधी अदालत ने पूर्व प्रधानमंत्री और मौजूदा समय में लंदन में इलाज करा रहे नवाज शरीफ को भ्रष्टाचार के मामले में 17 अगस्त को पेश होने का आखिरी मौका दिया है। ऐसा नहीं करने पर अदालत उन्हें अपराधी घोषित कर सकती है। उल्लेखनीय है कि पाकिस्तान के तीन बार के प्रधानमंत्री 70 वर्षीय शरीफ इस समय प्रतिरोधी प्रणाली संबंधी बीमारीका लंदन में इलाज करा रहे हैं। उच्च न्यायालय ने पिछले साल नवंबर में उन्हें इलाज कराने के लिए चार हफ्ते के लिए विदेश जाने की अनुमति दी थी जिसके बाद वह ब्रिटेन रवाना हुए थे। इस्लामाबाद स्थित जवाबदेही अदालत द्वारा तोशाखाना (खजाना) में भ्रष्टाचार मामले में जारी नोटिस को लाहौर के मॉडल टाउन स्थित शरीफ के आवास जट उमरा के सामने सोमवार को चस्पा किया गया।

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नोटिस में लिखा गया है, ‘‘ नवाज शरीफ ने राष्ट्रीय जवाबदेही अधिनियम-1999 की धारा-9 और 10 के तहत दंडनीय अपराध किया है और उनकी गिरफ्तारी के लिए जारी वारंट वापस आ गया क्योंकि आरोपी नहीं मिला। इसलिए इस बात को लेकर संतुष्ट हूं कि आरोपी फरार है। अत: दंड प्रक्रिया संहिता की धारा-87 के तहत घोषणा की जाती है कि शरीफ को 17 अगस्त को अदालत के समक्ष पेश होना होगा।’’ उल्लेखनीय है कि जवाबदेही अदालत ने पिछले महीने तोशाखाना मामले में शरीफ के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था। शरीफ पर लग्जरी कार लेने का आरोप है जिसके लिए उन्होंने वाहन की कीमत का मात्र 15 प्रतिशत भुगतान किया। पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी और पूर्व प्रधानमंत्री युसूफ रजा गिलानी पर भी तोशाखाने से लग्जरी वाहन और उपहार लेने का आरोप है। राष्ट्रीय जवाबदेही ब्यूरो के मुताबिक गिलानी ने जरदारी और नवाज शरीफ को वाहन हासिल करने में मदद की। अदालत ने विदेश विभाग को भी निर्देश दिया कि वह लंदन स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग के जरिये गिरफ्तारी वारंट पर अमल सुनिश्चित करे।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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