3500 जवान करेंगे हमास पर हमला? गाजा पर पाकिस्तान का खतरनाक प्लान

अमेरिका के इशारे पर पाकिस्तान भी इस योजना के तहत गाज़ा में सैनिक भेजना चाह रहा है। कुछ दिनों पहले अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रूबियो ने खुलासा किया था कि पाकिस्तान ने इस प्रस्तावित फोर्स का हिस्सा बनने की पेशकश की है।
पाकिस्तान का दोहरा चेहरा एक बार फिर से सामने आ गया है। वो पाकिस्तान जो खुद को गाज़ा का रहनुमा बताता है। उसने फिर से मुस्लिम ब्रदरहुड को धोखा दे दिया है। दरअसल गाज़ा में इजरायली तबाही के बाद स्थिरता बहाल करने के लिए अमेरिका की अगुवाई में एक इंटरनेशनल स्टेबलाइजेशन फोर्स बनाने की योजना चल रही है। अमेरिका के इशारे पर पाकिस्तान भी इस योजना के तहत गाज़ा में सैनिक भेजना चाह रहा है। कुछ दिनों पहले अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रूबियो ने खुलासा किया था कि पाकिस्तान ने इस प्रस्तावित फोर्स का हिस्सा बनने की पेशकश की है।
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फिलहाल कुछ तय नहीं है कि कब तक में और कितने सैनिक भेजने हैं। लेकिन पाकिस्तान अपनी ओर से 3500 सैनिक गाज़ा भेजना चाहता है। वैसे तो पाकिस्तान फिलिस्तीन देश बनाने का बहुत बड़ा हिमायती रहा है और हमास के नेताओं के मारे जाने पर पाकिस्तान ने कई बार इजराइल की आलोचना भी की है। पाकिस्तानी लोगों की भावना भी फिलिस्तीन के समर्थन में रहती है। जिन्हें कई मौकों पर देखा गया है कि वो हमास का भी खुलेआम समर्थन करते हैं। और अब पाकिस्तान की फौज भेजने की बात से यह सारी जनता सेना और सरकार के ऊपर भड़क सकती है।
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पाकिस्तान के भीतर मौजूद कट्टरता को देखते हुए इस जनता का भारी विरोध हिंसक भी हो सकता है। पाकिस्तान ने इजराइल को एक देश के रूप में कभी मान्यता नहीं दी है और पाकिस्तान ने ऑफिशियली हमास को भी कभी आतंकवादी संगठन नहीं माना है। वहां की सरकारों ने पारंपरिक तौर से फिलिस्तीन का समर्थन किया है। लेकिन अब मुनीर के इशारे से चल रही शबाज शरीफ की सरकार का यह आलम है कि वह उसी हमास के खिलाफ जब इजराइल और अमेरिका मिलकर नई फोर्स बनाने का प्रस्ताव रखते हैं तो पाकिस्तान उसका हिस्सा बनना चाहता है।
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