अमित शाह ने किसानों से कहा, आपकी हर समस्या और मांग पर विचार करने को तैयार है सरकार

केंद्र द्वारा लागू कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसान भारी पुलिस बल की मौजूदगी में शनिवार को लगातार तीसरे दिन भी सिंघू और टिकरी बॉर्डर पर डटे रहे। हालांकि, किसानों को शांतिपूर्ण प्रदर्शन के लिए उत्तर दिल्ली में एक स्थान की पेशकश की गयी थी। इस बीच केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने किसानों से कहा है कि सरकार उन से चर्चा करने के लिए तैयार है। शाह ने कहा कि 3 दिसंबर को चर्चा के लिए आपको कृषि मंत्री जी जी ने निमंत्रण पत्र भेजा है। भारत सरकार आपकी हर समस्या और हर मांग पर विचार विमर्श करने को तैयार है। गृह मंत्री ने आगे कहा कि अलग-अलग जगह नेशनल और स्टेट हाईवे पर किसान भाई अपने ट्रैक्टर ट्रॉली के साथ इतनी ठंड में खुले में बैठे हैं, इन सब से मैं अपील करता हूं कि दिल्ली पुलिस आपको एक बड़े मैदान में स्थानांतरित करने के लिए तैयार है, जहां आपको सुरक्षा व्यवस्था और सुविधाएं मिलेंगी। अगर आप रोड की जगह निश्चित किए गए स्थान पर अपना धरणा-प्रदर्शन शांतिपूर्ण ढ़ंग से, लोकतांत्रिक तरीके से करते हैं तो इससे किसानों की भी परेशानी कम होगी और आवाजाही कर रही आम जनता की भी परेशानी कम होगी। अगर किसान चाहते हैं कि भारत सरकार जल्द बात करे, 3 दिसंबर से पहले बात करे, तो मेरा आपको आश्वासन है कि जैसी ही आप निर्धारित स्थान पर स्थानांतरित हो जाते हैं, उसके दूसरे ही दिन भारत सरकार आपकी समस्याओं और मांगों पर बातचीत के लिए तैयार है।
आपको बता दे कि सीमा बिंदुओं पर एकत्र किसानों ने शनिवार की रात को वहीं पर रुकने का फैसला किया है क्योंकि उन्होंने अपनी अगली कार्यवाही के बारे में निर्णय लेने के लिए रविवार को एक महत्वपूर्ण बैठक बुलाई है। भारतीय किसान यूनियन कड़िया की जालंधर इकाई के अध्यक्ष बलजीत सिंह महल ने कहा, ‘‘आज हमने एक बैठक की और यह फैसला लिया कि हम यहां (सिंघू बार्डर) पर डटे रहेंगे। कल पूर्वाह्न 11 बजे एक और बैठक होगी और तब तक हम सिंघू बार्डर पर ही रहेंगे।’’ सिंघू बॉर्डर पर पहले से मौजूद किसानों के अलावा पंजाब और हरियाणा से और किसान भी यहां पहुंच गए, जिससे एकत्र किसानों की संख्या बहुत बढ़ गई। उन्होंने राष्ट्रीय राजधानी के सबसे बड़े मैदानों में से एक संत निरंकारी ग्राउंड की तरफ जाने से इनकार कर दिया। प्रदर्शनकारी किसानों को उत्तर प्रदेश के किसानों का भी समर्थन मिला, जो शनिवार की अपराह्न अपने वाहनों के साथ गाजीपुर बार्डर पर एकत्र हुए थे।अगर किसान चाहते हैं कि भारत सरकार जल्द बात करे, 3 दिसंबर से पहले बात करे, तो मेरा आपको आश्वासन है कि जैसी ही आप निर्धारित स्थान पर स्थानांतरित हो जाते हैं, उसके दूसरे ही दिन भारत सरकार आपकी समस्याओं और मांगों पर बातचीत के लिए तैयार है :केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह #FarmersProtest pic.twitter.com/hzJ1LB8fgo
— ANI_HindiNews (@AHindinews) November 28, 2020
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इससे पूर्व दिन में संयुक्त पुलिस आयुक्त (उत्तर रेंज) सुरेंद्र सिंह यादव ने सिंघू बॉर्डर पर सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लिया और उसके बाद संवाददाताओं को बताया कि उत्तर दिल्ली के मैदान में करीब 600 से 700 किसान पहुंचे हैं। यादव ने बताया कि पुलिस और प्रशासन ने निर्दिष्ट प्रदर्शन स्थल पर किसानों के लिए पर्याप्त इंतजाम किए हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि और किसान वहां पहुंचेंगे। शनिवार को सुबह, पंजाब और हरियाणा के प्रदर्शनकारी किसान सिंघू बॉर्डर पर एकत्रित हो गए और आगे की कार्यवाही पर फैसला करने के लिए उन्होंने बैठक की। एक किसान नेता ने बताया कि पंजाब से दिल्ली प्रवेश करने के प्रमुख रास्ते सिंघू बॉर्डर पर किसानों की बैठक में फैसला लिया गया कि वे वहां से नहीं हटेंगे और प्रदर्शन जारी रखेंगे। उन्होंने कहा, ‘‘हम यहीं (सिंघू बॉर्डर पर) प्रदर्शन जारी रखेंगे। हम घर वापस नहीं जाएंगे। पंजाब और हरियाणा से हजारों किसान प्रदर्शन में शामिल होने के लिए आए हैं।’’
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