Rahul Gandhi की 'वोट चोरी' वेबसाइट पर संग्राम, BJP बोली- 'नासमझ' हैं कांग्रेस सांसद

राहुल गांधी की 'वोट चोरी' वेबसाइट पर भाजपा ने उन्हें 'नासमझ' बताया, वहीं अमित मालवीय ने तकनीकी अज्ञानता के आरोप लगाए। चुनाव आयोग ने भी उनके 'भ्रामक' दावों पर सख्त प्रतिक्रिया देते हुए राहुल गांधी से या तो आरोपों पर शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करने या देश से माफी मांगने को कहा है।
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के 'वोट चोरी' अभियान और वेबसाइट लॉन्च करने पर भाजपा ने तीखी प्रतिक्रिया दी है। बीजेपी प्रवक्ता अमित मालवीय ने राहुल गांधी को 'नासमझ' बताते हुए उनके इस कदम पर निशाना साधा।
अमित मालवीय का राहुल पर हमला
मालवीय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर राहुल गांधी पर हमला बोलते हुए कहा, 'हमें अभी भी नहीं पता कि राहुल गांधी कब घोषणापत्र/शपथ के तहत उन अयोग्य मतदाताओं के नाम प्रस्तुत करेंगे जिनके बारे में उनका दावा है कि वे मतदाता सूची में हैं।' उन्होंने कहा कि यह मतदाता पंजीकरण नियम, 1960 के नियम 20(3)(बी) के तहत अनिवार्य है।
मालवीय ने यह भी आरोप लगाया कि विपक्षी दल 'तकनीकी डायनासोर' हैं। उन्होंने राहुल गांधी के इस दावे पर भी सवाल उठाया कि उन्हें एक विधानसभा क्षेत्र की मतदाता सूची का विश्लेषण करने में 30 दिन लगे, जबकि मीडिया और सोशल मीडिया यूजर्स ने चुनाव आयोग के पोर्टल पर उसी सूची की जांच बहुत कम समय में कर ली।
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भाजपा ने राहुल को बताया 'घटिया कारीगर'
अमित मालवीय ने राहुल गांधी के 'मशीन-पठनीय डेटा' की मांग को 'घटिया कारीगरी' का एक उदाहरण बताया। उन्होंने कहा, 'अब ये राजनीतिक रूप से निकम्मे लोग स्कैन की गई तस्वीरों का रोना रो रहे हैं और 'मशीन-पठनीय डेटा' की मांग कर रहे हैं। यह एक घटिया कारीगर द्वारा अपने औजारों को घटिया कारीगरी के लिए दोषी ठहराने का एक आदर्श उदाहरण है।'
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'वोट चोरी' के आरोपों पर चुनाव आयोग ने राहुल गांधी को दिया जवाब
चुनाव आयोग ने शुक्रवार को राहुल गांधी के पांच सवालों का विस्तृत जवाब देते हुए उनके आरोपों को 'भ्रामक' बताया और कहा कि उन्होंने बिना किसी आधिकारिक शिकायत के सार्वजनिक रूप से झूठे दावे किए हैं।
चुनाव आयोग ने हैशटैग #ECIFactCheck के तहत जारी किए गए बयान में राहुल गांधी से कहा है कि वह या तो अपने आरोपों पर 'घोषणापत्र पर हस्ताक्षर करें' या फिर 'देश से माफी मांगें'। यह मामला गुरुवार को राहुल गांधी की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद शुरू हुआ था, जिसमें उन्होंने मतदाता सूची में 'एक करोड़ रहस्यमय मतदाता', फर्जी वोटर और सीसीटीवी फुटेज नष्ट करने जैसी अनियमितताओं का आरोप लगाया था।
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