तेजस्वी के बिल्डिंग बाईलॉज का उल्लंघन मामले में कार्रवाई करेगी सरकार

बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने राजद नेता एवं पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव पर बिल्डिंग बाईलॉज का उल्लंघन करके राजधानी पटना में सबसे बड़ा मॉल बनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य सरकार इस मामले में उनके खिलाफ कार्रवाई करेगी।
पटना। बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने राजद नेता एवं पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी प्रसाद यादव पर बिल्डिंग बाईलॉज का उल्लंघन करके राजधानी पटना में सबसे बड़ा मॉल बनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि राज्य सरकार इस मामले में उनके खिलाफ कार्रवाई करेगी। सुशील ने यहां पत्रकारों से कहा कि राज्य सरकार तेजस्वी के खिलाफ निश्चित रूप से कार्रवाई करेगी जिन्होंने पटना में तीन एकड़ जमीन पर करीब 750 करोड रुपये की लागत से 15 मंजिल मॉल का निर्माण बिना नक्शा पास कराए ही प्रारंभ कर दिया।
उन्होंने कहा कि बिहार नगर पालिका अधिनियम 2007 के नियम 313 में स्पष्ट प्रावधान है कि भवन की योजना स्वीकृत होने पर ही कोई व्यक्ति निर्माण करेगा। सुशील ने आरोप लगाया कि उपमुख्यमंत्री बनने के मात्र छह माह के भीतर उक्त तीन एकड़ जमीन पर 7 लाख 66 हजार वर्गफुट का एक हजार आफिस स्पेस, 5 स्टार होटल एवं शापिंग मॉल का एग्रिमेंट सुरसण्ड के विधायक अबुल दोजाना की कम्पनी के साथ किया गया। उन्होंने आरोप लगाया कि एग्रिमेंट के बाद उक्त मॉल का नक्शा पास कराए बिना ही निर्माण प्रारम्भ कर दिया गया।
सुशील ने आरोप लगाया कि गत 4 अप्रैल को मिट्टी घोटाला उजागर होने के 11 दिन बाद आनन—फानन में आधे अधूरे कागजात के साथ गत 15 अप्रैल को दानापुर नगर परिषद में नक्शा की स्वीकृति के लिए आवेदन किया गया था। यद्यपि गत 24 मई को दानापुर नगर परिषद ने नक्शे में त्रुटि के निराकरण के लिए तेजस्वी के वास्तुविद् को नोटिस जारी किया था जिसमें चेक लिस्ट अधूरी होने का उल्लेख किया गया था। उन्होंने आरोप लगाया कि चार माह बीतने का बाद भी आज तक त्रुटि का निराकरण नहीं किया गया और न ही नोटिस का जवाब दिया गया।
सुशील ने आरोप लगाया कि गत एक सितम्बर को दानापुर के कार्यपालक अधिकारी ने जवाब अप्राप्त होने की सूचना दी और पुन: स्मारित करने का निर्णय लिया है। उन्होंने आरोप लगाया कि सत्ता का लाभ उठाकर सरकार में उपमुख्यमंत्री बनते ही जमीन का डेवलपमेंट एग्रिमेंट किया गया। उन्होंने कहा कि इस मामले में बिहार नगर पालिका अधिनियम के तहत कार्रवाई की जाएगी।
सुशील ने कहा कि उक्त अधिनियम के तहत बिल्डिंग बाईलॉज का उल्लंघन करने पर निर्माण कार्य को ध्वस्त करने के अलावा संबंधित व्यक्ति या फर्म के खिलाफ जुर्माना लगाये जाने का प्रावधान है।
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