Excise scam: न्यायालय सांसद के बेटे की अंतरिम जमानत को चुनौती देने वाली याचिका पर कल सुनवाई करेगा

Supreme Court
प्रतिरूप फोटो
ANI

न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस और न्यायमूर्ति राजेश बिंदल की अवकाश पीठ ने बृहस्पतिवार को प्रवर्तन निदेशालय की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलीसिटर जनरल एस वी राजू की दलीलों पर गौर किया, जिन्होंने तत्काल सुनवाई का अनुरोध किया था।

नयी दिल्ली। उच्चतम न्यायालय वाईएसआर कांग्रेस पार्टी के लोकसभा सदस्य मगुंटा श्रीनिवासुलु रेड्डी के बेटे राघव मगुंटा को दिल्ली उच्च न्यायालय द्वारा दी गई 15 दिन की अंतरिम जमानत को चुनौती देने वाली याचिका पर शुक्रवार को सुनवाई करने के लिए सहमत हो गया। न्यायमूर्ति अनिरुद्ध बोस और न्यायमूर्ति राजेश बिंदल की अवकाश पीठ ने बृहस्पतिवार को प्रवर्तन निदेशालय की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलीसिटर जनरल एस वी राजू की दलीलों पर गौर किया, जिन्होंने तत्काल सुनवाई का अनुरोध किया था। अतिरिक्त सॉलीसिटर जनरल ने कहा कि नियमित जमानत का अनुरोध करने वाली खारिज कर दी गई थी और पत्नी की बीमारी के आधार पर अंतरिम जमानत के अनुरोध को भी अस्वीकार किया गया था।

उन्होंने आदेश पर स्थगन का अनुरोध करते हुए कहा,‘‘ अब अचानक सास शौचालय में फिसलकर गिर जाती हैं और उनका उपचार चल रहा है। कोई गंभीर बात नहीं है। उनके पिता सांसद हैं जो उनकी देखभाल कर सकते है। देखभाल के लिए तीन भाई बहन हैं और इन सब के बावजूद उच्च न्यायालय ने जमानत दे दी है।’’ उच्चतम न्यायालय ने कहा कि वह मामले पर सुनवाई शुक्रवार को करेगा। गौरतलब है कि उच्च न्यायालय ने मगुंटा को बुधवार को इस आधार पर जमानत दी थी कि उनकी सास अस्पताल में भर्ती हैं। इससे पहले निचली अदालत ने यह कहते हुए अंतरिम जमानत देने से इनकार कर दिया था कि इस बात की अनदेखी नहीं की जा सकती कि आरोपी के खिलाफ धनशोधन का मामला है जो कि एक गंभीर आर्थिक अपराध है।

इसे भी पढ़ें: Mamata Banerjee ने PM मोदी को भेजे बंगाल के खास किस्म के आम,12 सालों से जारी है परंपरा

आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता और दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, मगुंटा और अन्य के खिलाफ मामलों की जांच कर रहे केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो तथा ईडी के अनुसार आबकारी नीति में बदलाव के दौरान अनियमितता बरती गई और लाइसेंस धारियों को लाभ पहुंचाया गया। दिल्ली सरकार ने 17 नवंबर 2021 को आबकारी नीति लागू की थी लेकिन इसमें भ्रष्टाचार के आरोप लगने के बाद सितंबर 2022 के आखिर में इसे रद्द कर दिया था। सीबीआई और ईडी दोनों ने ही आबकारी नीति में कथित भ्रष्टाचार को लेकर मामले दर्ज किए और सिसोदिया फिलहाल जेल में हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


All the updates here:

अन्य न्यूज़