सांप्रदायिक टिप्पणी पर गिरिराज को मिला आयोग का नोटिस

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बिहार के बेगूसराय जिला प्रशासन ने स्वत: संज्ञान लेते हुए 25 अप्रैल को गिरिराज के खिलाफ आदर्श आचार संहिता और जनप्रतिनिधित्व कानून के उल्लंघन का मामला दर्ज किया था। गिरिराज पर 24 अप्रैल को एक जनसभा में भाजपा अध्यक्ष अमित शाह की मौजूदगी में मुस्लिमों के खिलाफ टिप्पणी करने का आरोप है।

नयी दिल्ली। चुनाव आयोग ने सांप्रदायिक टिप्पणियां करने को लेकर सोमवार को केंद्रीय मंत्री एवं भाजपा नेता गिरिराज सिंह को कारण बताओ नोटिस जारी किया। आयोग ने कहा कि प्रथमदृष्टया गिरिराज ने आदर्श आचार संहिता के प्रावधानों और उच्चतम न्यायालय के निर्देशों का उल्लंघन किया है। आचार संहिता और उच्चतम न्यायालय के निर्देश कहते हैं कि चुनाव प्रचार के दौरान की जाने वाली बयानबाजी में धर्म का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता। गिरिराज को कारण बताओ नोटिस का जवाब देने के लिए 24 घंटे का वक्त दिया गया है।

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बिहार के बेगूसराय जिला प्रशासन ने स्वत: संज्ञान लेते हुए 25 अप्रैल को गिरिराज के खिलाफ आदर्श आचार संहिता और जनप्रतिनिधित्व कानून के उल्लंघन का मामला दर्ज किया था। गिरिराज पर 24 अप्रैल को एक जनसभा में भाजपा अध्यक्ष अमित शाह की मौजूदगी में मुस्लिमों के खिलाफ टिप्पणी करने का आरोप है। बेगूसराय में रैली को संबोधित करते हुए गिरिराज सिंह ने कहा था, ‘‘...जो वंदे मातरम नहीं गा सकता, जो मातृभूमि का सम्मान नहीं कर सकता, उसे देश माफ नहीं करेगा। मेरे पूर्वज सिमरिया घाट में गंगा नदी के किनारे मरे, और उन्हें कब्र की जरूरत नहीं पड़ी। लेकिन तुम्हें तो तीन हाथ जगह चाहिए।’’ साल 2014 के लोकसभा चुनावों में गिरिराज को सांप्रदायिक टिप्पणियां करने के कारण बिहार और झारखंड में चुनाव प्रचार करने से रोक दिया गया था।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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