Unlock 2 के छठे दिन तक देश में कोरोना की जाँच संख्या 1 करोड़ के पार

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कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए 18 जून से दिल्ली में करीब 1.82 लाख त्वरित एंटीजन जांच की गयी और एंबुलेंस की संख्या भी 337 से बढ़ाकर 602 कर दी गयी है। अधिकारियों ने दिल्ली के उपराज्यपाल अनिल बैजल को सोमवार को इस बारे में अवगत कराया।

केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने सोमवार को कहा कि भारत ने दुनिया को दिखा दिया कि कोरोना वायरस के संकट से जूझने के बावजूद महामारी से पहले की तरह सामान्य गतिविधियां चल सकती हैं। वह मसूरी स्थित लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी में आईएएस पेशेवर पाठ्यक्रम के दूसरे चरण (वर्ष 2018 बैच) का उद्घाटन करने के बाद वीडियो कांफ्रेंस के जरिये बोल रहे थे। कार्मिक मंत्रालय का प्रभार संभाल रहे सिंह ने कहा कि 2020 में प्रशासनिक सेवा का अखिल भारतीय चरित्र वास्तव में सामने आया है क्योंकि गत वर्षों में लगभग सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों का प्रतिनिधित्व यहां देखने को मिला है। उन्होंने कहा कि भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए, यह एक बड़ी संपत्ति है और देश में नागरिक सेवाओं के संस्थापक सरदार वल्लभभाई पटेल के सपने के अनुरूप है। मंत्री ने कहा कि अधिकारियों के पास नये भारत के निर्माता बनने का मौका है जिसकी आधारशिला प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रखी है। कार्मिक मंत्रालय द्वारा जारी बयान के मुताबिक सिंह ने कहा कि गत 10 हफ्तों में भारत ने दुनिया को दिखा दिया कि कोरोना वायरस के संकट से जूझने के साथ महामारी के पूर्व की तरह गतिविधियां जारी रखी जा सकती हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि आजादी की 73वीं सालगिरह पर भारत मजबूत होकर खड़ा है और उम्मीद और क्षमता के साथ भविष्य को देख रहा है। सिंह ने कहा, ‘‘विविधता से भरे अपने देश में सरकार की निरंतर कोशिश अपने नागरिकों को समझने, विकास के सामान लक्ष्य को रखकर उनके साथ काम करने और अपने-अपने क्षेत्रों में बेहतर करने के लिए प्रोत्साहित करने की होती है।’’ पहली बार आईएएस पेशेवर पाठ्यक्रम का ऑनलाइन उद्घाटन करने का संदर्भ देते हुए उन्होंने संतोष जताया कि 185 प्रतिभागियों में 125 इंजीनियरिंग या अन्य पेशेवर पृष्ठभूमि से हैं और कहा कि आधुनिक काल में भारत द्वारा विकास की चुनौतियों का सामना किया जा रहा है उसमें वे सहायक होंगे। सिंह ने कहा कि बैच में 50 महिला अधिकारियों की मौजूदगी नरेंद्र मोदी सरकार द्वारा 'महिला सशक्तीकरण' मंत्र का वास्तविक प्रमाण है। उन्होंने याद किया कि पिछले पांच से छह वर्षों में, प्रधानमंत्री द्वारा भारत में नौकरशाही को एक नयी प्रेरणा और दिशा देने के लिए नयी शुरुआत और नवाचारों की एक श्रृंखला शुरू की गई है। मंत्री ने विशेष रूप से उल्लेख किया है कि कुछ पहले अपने कॅरियर की शुरुआत में आईएएस अधिकारियों को तीन महीने के लिए केंद्र में सहायक सचिवों के रूप में तैनाती की शुरुआत की गई जिससे उनकी क्षमता में जबरदस्त विकास हुआ। उन्होंने कहा कि इसी तरह से भ्रष्टाचार निरोधी अधिनियम-1988 में वर्ष 2018 में संशोधन किया गया और ईमानदार अधिकारियों को उत्पीड़न से बचाने के लिए उचित व्यवस्था की गई और इस कानून के दायरे में पहली बार रिश्वत देने वाले को भी लाया गया। लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय प्रशासन अकादमी के निदेशक संजीव चोपड़ा ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि ऑनलाइन सत्र के लिए अध्ययन प्रबंधन प्रणाली ‘ज्ञान’ का इस्तेमाल अकादमी में किया जा रहा है।

भारत में कोविड-19 जांचों की संख्या एक करोड़ के पार

भारत में सोमवार तक कोविड-19 संक्रमण की पुष्टि के लिए एक करोड़ से अधिक नमूनों की जांच हो चुकी है। आईसीएमआर के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार देश में कोविड-19 के 24,248 नए मामले सामने आने के बाद देश में कोरोना वायरस संक्रमण के कुल मामले सोमवार को सात लाख के पास पहुंच गए। वहीं, 425 संक्रमित लोगों की मौत के बाद देश में इस बीमारी से मरने वालों की संख्या 19,693 हो गई। भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के वैज्ञानिक और मीडिया समन्वयक डॉ लोकेश शर्मा ने कहा, “छह जुलाई सुबह 11 बजे तक कुल 1,00,04,101 लोगों की कोरोना वायरस की जांच की गई है, जिनमें से 1,80,596 लोगों की जांच पांच जुलाई को की गई।” शर्मा ने कहा कि देश में कोरोना वायरस के नमूनों की जांच के लिये अब कुल 1,105 प्रयोगशालाएं हैं, जिनमें 788 सार्वजनिक क्षेत्र में जबकि 317 निजी क्षेत्र में हैं। एक जुलाई तक देश भर में कुल 90 लाख जांचें हो चुकी थीं। शर्मा ने कहा, “25 मई तक जांच क्षमता तकरीबन 1.5 लाख प्रतिदिन थी जिसे बढ़ाकर अब तीन लाख प्रतिदिन कर दिया गया है।” आईसीएमआर ने कहा कि सिर्फ एक प्रयोगशाला, पुणे स्थित राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान (एनआईवी), से जांच शुरू हुई थी और लॉकडाउन की शुरूआत में यह 100 था। आगे चलकर 23 जून को आईसीएमआर ने 1,000 जांच प्रयोगशालाओं को मंजूरी दी। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने पहले कहा था कि केंद्र सरकार कोविड-19 जांच क्षमता को बढ़ाने के लिए कई आवश्यक कदम उठा रही है। सरकार ने कहा है कि आईसीएमआर की ओर से सुझाए गए जांच के विभिन्न तरीकों का इस्तेमाल करते हुए सभी राज्य सरकारें, सरकारी और निजी संस्थाएं कोविड-19 की जांच के दायरे को बढ़ाने के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएं। ‘जांच-निगरानी-उपचार’ की रणनीति को दोहराते हुए केंद्र ने पिछले सप्ताह कहा था कि कोविड-19 जांच प्रयोगशालाओं का पूरी तरह उपयोग सुनिश्चित किया जाए।

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डैशबोर्ड

विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्रालय के तहत आने वाले नेशनल एटलस एवं थिमैटिक मैपिंग संगठन (नाटमो) ने एक डैशबोर्ड तैयार किया है जिसके माध्यम से देश में कोविड-19 की स्थिति की विस्तृत जानकारी मिलेगी। एक सरकारी बयान में बताया गया कि कोविड-19 के आंकड़े, मरने वालों की संख्या, इलाज करा रहे रोगियों की संख्या और ठीक हो चुके मरीजों की संख्या के अलावा डैशबोर्ड में पाई-चार्ट, ग्राफ भी होंगे जो कोरोना वायरस से जुड़ी सूचनाएं सरल तरीके से देंगे। नाटमो ने अप्रैल में कोविड-19 डैशबोर्ड तैयार करने की पहल शुरू की थी ताकि एक जगह पर सभी सरकारी विभागों के आंकड़े दिए जा सकें जिसमें कोविड-19 से निजात पाने की पहल भी शामिल है। बयान में बताया गया, ‘‘सामान्य तौर पर देखा गया है कि कोविड-19 डैशबोर्ड में कोविड-19 के केवल राज्यवार एवं जिलावार मामले दिए जाते हैं। लेकिन नाटमो ने अपने डैशबोर्ड में स्वास्थ्य ढांचे से जुड़ी सूचनाएं देने का भी प्रावधान किया है जिससे आम आदमी को मुद्दे से जुड़ी सूचनाएं प्राप्त करने में आसानी होगी।’’

दिल्ली में कुल संख्या एक लाख के पार

दिल्ली में सोमवार को कोरोना वायरस के 1,379 मामले सामने आए जिसके बाद कोविड-19 के मामलों की संख्या एक लाख के ऊपर पहुंच गई है और इस महामारी से अब तक 3,115 मरीजों की मौत हो चुकी है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य विभाग की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार पिछले चौबीस घंटे में कोविड-19 से 48 लोगों की मौत हुई। सोमवार को जारी बुलेटिन के अनुसार कोरोना वायरस से मरने वालों संख्या बढ़कर 3,115 हो गई है और संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 1,00,823 हो गई है।

गुजरात में 735 नए मामले

गुजरात में सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण के एक दिन में सर्वाधिक 735 नए मामले सामने आने के बाद राज्य में संक्रमित लोगों की कुल संख्या बढ़कर 36,858 हो गई। राज्य स्वास्थ्य विभाग ने बताया कि राज्य में कोरोना वायरस से संक्रमित 17 और लोगों की मौत हो जाने के बाद कुल मृतक संख्या बढ़कर 1,962 हुई। विभाग ने एक विज्ञप्ति में बताया कि सोमवार को 423 लोगों को अस्पताल से छुट्टी दी गई। राज्य में संक्रमित हुए कुल 26,323 लोग उपचार के बाद स्वस्थ हो चुके हैं। विभाग ने बताया कि राज्य में 8,573 लोगों का उपचार चल रहा हैं, जिनमें से 69 लोगों की हालत गंभीर है। गुजरात में कोविड-19 के संबंध में अब तक 4,18,464 लोगों की जांच की जा चुकी है।

तमिलनाडु में कोरोना संक्रमितों की संख्या 1.15 लाख

तमिलनाडु में सोमवार को कोरोना वायरस के 3,827 नए मामले सामने आए और संक्रमित लोगों की कुल संख्या 1.15 लाख के पास पहुंच गयी। पिछले चार दिनों से राज्य में कोरोना वायरस के 4,000 से अधिक नए मामले सामने आ रहे थे। स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी बुलेटिन में कहा गया है कि इस वायरस से 61 लोगों की मौत हो गई और मृतकों की संख्या बढ़कर 1,571 हो गयी। तमिलनाडु में दो जुलाई से पांच जुलाई के बीच हर दिन 4,000 से अधिक नए मामले सामने आए। चार दिनों के अंतराल के बाद सोमवार को नए मामलों की संख्या 4,000 से कम रही। एक जुलाई को राज्य में 3,882 मामले सामने आए थे जबकि 30 जून को यह संख्या 3,943 थी। राज्य में अब तक संक्रमित हुए लोगों की कुल संख्या 1,14,978 है जिनमें से 70,017 मामले चेन्नई से हैं। सोमवार को 3,793 रोगियों को अस्पतालों से छुट्टी दे दी गई और अब तक कुल 66,571 लोग स्वस्थ हो चुके हैं। बुलेटिन के अनुसार, राज्य में अभी 46,833 लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हैं।

मेघालय में आठ और लोगों में संक्रमण

मेघालय में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के पांच कर्मियों समेत आठ लोगों में सोमवार को कोविड-19 की पुष्टि हुई। मुख्यमंत्री कोनराड संगमा ने यह जानकारी दी। संक्रमण के नए मामले सामने आने के बाद अब राज्य में 36 मरीजों का इलाज चल रहा है। मुख्यमंत्री ने ट्विटर समेत अपने सोशल मीडिया खातों पर यह जानकारी दी। उन्होंने कहा, “राज्य में सात लोगों में कोविड-19 की पुष्टि हुई है। एक री भोई से, छह शिलांग से (पांच बीएसएफ कर्मी और एक गुवाहाटी से लौटा व्यक्ति।)” सोमवार को लिखी एक अन्य पोस्ट में उन्होंने कहा था कि असम से वापस आए एक व्यक्ति में तुरा में कोरोना वायरस की पुष्टि हुई थी। मेघालय में अब तक कोविड-19 के कुल 80 मामले सामने आ चुके हैं। एक वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी ने कहा कि अब तक महामारी से एक व्यक्ति की मौत हुई है 43 मरीज ठीक हो चुके हैं। राज्य में बीएसएफ के अब तक 17 कर्मियों में कोविड-19 की पुष्टि हो चुकी है। अधिकारी ने कहा कि राज्य में कोविड-19 को फैलने से रोकने के लिए री भोई और तुरा जिले में राष्ट्रीय राजमार्ग के पास लोगों की औचक जांच की जा रही है।

दिल्ली कोरोना ऐप

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा है कि शहर में सभी कोविड अस्पतालों का हेल्पलाइन नंबर दिल्ली कोरोना मोबाइल ऐप में दिखने लगा है। एक आधिकारिक बयान में सोमवार को इसकी जानकारी दी गयी। बयान में कहा गया है कि दिल्ली सरकार को लोगों से शिकायतें मिली थी कि ज्यादातर समय इन अस्पतालों के हेल्पलाइन नंबर पर संपर्क नहीं हो पाता है। मामले का संज्ञान लेते हुए केजरीवाल और उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने शहर में सभी कोविड अस्पतालों को हेल्पलाइन नंबर बनाने को कहा। बयान में कहा गया, ‘‘इन सभी अस्पतालों ने 24 घंटे उपलब्ध रहने वाले हेल्पलाइन नंबर को सामने रखा है और दिल्ली कोरोना ऐप पर ये नंबर उपलब्ध हैं।’’ बयान में कहा गया कि कोई भी व्यक्ति कोविड-19 से जुड़े मामलों में इन अस्पतालों में संपर्क करना चाहता है तो वह ऐप से सीधे इन नंबरों पर फोन कर सकता है। आप सरकार ने शहर के अस्पतालों में कोरोना वायरस संक्रमण के इलाज के लिए बेड की उपलब्धता के बारे में सूचना मुहैया कराने के लिए पिछले महीने दिल्ली ‘कोरोना’ ऐप की शुरुआत की थी। ऐप की शुरुआत के बाद सरकार ने अस्पतालों को ऐप पर निरंतर जानकारी अपडेट करने का भी आदेश दिया था। ऐप के माध्यम से दिल्ली के लोगों को संक्रमण का उपचार करने वाले पास के अस्पतालों के बारे में भी जानकारी मिलती है। बयान में कहा गया कि छह जुलाई तक दिल्ली में करीब 14,986 बेड हैं इसमें से 5196 पर मरीज हैं और 9817 बेड खाली हैं।

तमिलनाडु में 18 मरीजों पर सफलतापूर्वक प्लाज्मा थेरेपी

तमिलनाडु के चेन्नई में राजीव गांधी सरकारी जनरल अस्पताल में कोविड-19 के 18 मरीजों पर सफलतापूर्वक प्लाज्मा थेरेपी की गई। एक वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी। भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के दिशानिर्देशों के अनुसार मई में यहां ‘प्लाज्मा क्लीनिकल ट्रायल’ शुरू किया गया था। दिल्ली सरकार ने पिछले सप्ताह देश के पहले ‘प्लाज्मा बैंक’ की शुरूआत की थी। अधिकारी ने इन 18 मरीजों के बारे में बताया, ‘‘अब तक उनमें कोई समस्या नहीं है। उनकी स्थिति ठीक है।’’ उन्होंने बताया कि यह थेरेपी इसलिए संभव हो पाई क्योंकि कोविड-19 से स्वस्थ हुए मरीजों ने प्लाज्मा दान किये थे। अधिकारी ने बताया, ‘‘कोविड-19 से स्वस्थ होने के 14 दिन बाद कोई व्यक्ति प्लाज्मा दान कर सकता है।’’

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केरल में कोरोना वायरस संक्रमण के 193 नए मामले

केरल में कोरोना वायरस संक्रमण के 193 नए मामले आने के बाद संक्रमितों की कुल संख्या सोमवार को 5,622 हो गई। इसके अलावा दो रोगियों की मौत के साथ ही मृतकों की तादाद 27 तक पहुंच गई है। मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने अपने आवास पर मीडिया को ऑनलाइन संबोधित करते हुए कहा कि नए संक्रमित पाए गए लोगों में से 92 लोग विदेश से लौटे हैं जबकि 62 लोग दूसरे राज्यों से आए हैं। इसके अलावा 32 स्थानीय लोग भी संक्रमित पाए गए हैं। केरल की राजधानी तिरुवनंतपुरम में आज सुबह से तीसरा लॉकडाउन लागू है। उन्होंने बताया कि दो मृतकों में से एक 82 वर्षीय मृतक हाल ही में सऊदी अरब से लौटा था। वह कैंसर से पीड़ित था। इसके अलावा एक 66 वर्षीय व्यक्ति का एर्नाकुलम मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में इलाज चल रहा था।

आंध्र प्रदेश में कोविड-19 के मामले 20,000 के पार

आंध्र प्रदेश में पिछले चौबीस घंटे में कोविड-19 के 1,322 नए मामले सामने आए जिसके बाद सोमवार को संक्रमण के कुल मामलों की संख्या 20,000 पार कर गई। राज्य में पहली बार संक्रमण के 1,000 से अधिक नए मामले सामने आए हैं जिसके बाद संक्रमण के कुल मामले 20,019 हो गए। इसके अलावा संक्रमण के कारण सात और मरीजों की मौत हो गई जिसके बाद महामारी से मरने वालों की संख्या बढ़कर 239 हो गई। बुलेटिन के अनुसार राज्य में अब तक 8,920 मरीज ठीक हो चुके हैं और अभी 10,860 मरीजों का इलाज चल रहा है। सोमवार को श्रीकाकुलम जिले में दो मरीजों की मौत हो गई जबकि विशाखापट्टनम, कृष्णा, गुंटूर, अनंतपुरामु और चित्तूर में एक-एक मरीज की जान चली गई। राज्य में अब तक पाए गए कुल 20,019 मामलों में से 17,365 मरीज स्थानीय लोग हैं जबकि 2,235 मरीज अन्य राज्यों से लौटे थे और 419 विदेशों से लौटने वाले हैं।

संक्रमण दर 30 प्रतिशत से घटकर 10 प्रतिशत

केंद्र ने सोमवार को कहा कि दिल्ली में कोविड-19 संबंधी जांच की औसत संख्या लगभग एक महीने में 5,481 बढ़कर 18,766 हो गई है और जांच की संख्या में वृद्धि के बावजूद राष्ट्रीय राजधानी में पिछले तीन सप्ताह में संक्रमण दर लगभग 30 प्रतिशत से घटकर 10 प्रतिशत हो गई है। सरकार ने यह भी कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर भी संक्रमण दर यानी कुल नमूनों की जांच में रिपोर्ट पॉजिटिव आने की दर में कमी आई है और यह अब 6.73 प्रतिशत है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि केंद्र, राज्य सरकारों और केंद्रशासित प्रदेशों ने देश में कोविड-19 महामारी से प्रभावी ढंग से निपटने के लिए संयुक्त और समन्वित प्रयास किए हैं। बयान में कहा गया कि समन्वित प्रयासों के तहत केंद्र सरकार ने जांच संख्या बढ़ाने, संक्रमित व्यक्तियों के संपर्क में आए लोगों का तुरंत पता लगाने और समय पर मामलों के चिकित्सकीय प्रबंधन पर जोर दिया है। मंत्रालय ने कहा कि केंद्र ने जांच क्षमता बढ़ाने के लिए राज्यों की मदद की है। इसने कहा कि इस कवायद से देश में संक्रमण दर में कमी आई है इस समय राष्ट्रीय स्तर पर संक्रमण दर 6.73 प्रतिशत है। पांच जुलाई तक के आंकड़ों के अनुसार पुडुचेरी (5.55), चंडीगढ़ (4.36), असम (2.84), त्रिपुरा (2.72), कर्नाटक (2.64), राजस्थान (2.51), गोवा (2.5) और पंजाब (1.92) उन राज्यों/केंद्रशासित प्रदेशों में शामिल हैं जहां प्रति लाख नमूनों में संक्रमण दर राष्ट्रीय औसत से कम तथा जांच क्षमता राष्ट्रीय औसत से अधिक है। मंत्रालय ने कहा कि दिल्ली में जांच क्षमता बढ़ाने के लिए केंद्र सरकार प्रयासों को मजबूत कर रही है। केंद्र ने कहा कि रैपिड एंटीजन प्वाइंट ऑफ केयर (पीओसी) के साथ आरटी-पीसीआर के माध्यम से जांच क्षमता को बढ़ाया जा रहा है जिसका परिणाम लगभग 30 मिनट में आ जाता है। इसने कहा, ‘‘जांच क्षमता को बढ़ाने के लिए भारत सरकार के ठोस और केंद्रित प्रयासों के परिणामस्वरूप हर रोज की जाने वाली नमूनों की औसत जांच संख्या जो (एक से पांच जून तक) केवल 5,481 थी, वह बढ़कर प्रतिदिन (एक से पांच जुलाई तक) औसतन 18,766 हो गई है।’’ बयान में कहा गया, ‘‘दिल्ली में जांच क्षमता में महत्वपूर्ण वृद्धि के साथ ही संक्रमण दर में भी महत्वूपर्ण कमी आई है और यह पिछले तीन सप्ताह में लगभग 30 प्रतिशत से घटकर 10 प्रतिशत हो गई है।’’ दिल्ली में वर्तमान में कोरोना वायरस संक्रमण के लगभग 25 हजार सक्रिय मामले हैं और इनमें से 15 हजार लोगों को उनके घरों में पृथक-वास में रखा गया है। राष्ट्रीय राजधानी में रविवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 2,505 नए मामले आए जिससे संक्रमण के कुल मामलों की संख्या लगभग एक लाख के करीब पहुंच गई। राजधानी में इस घातक विषाणु के चलते अब तक 3,067 लोगों की मौत हो चुकी है।

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औरंगाबाद में सख्त लॉकडाउन

महाराष्ट्र के औरंगाबाद जिले में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को रोकने के लिए 10 जुलाई से सख्त प्रतिबंधों के साथ लॉकडाउन को लागू किया जाएगा। अधिकारियों ने सोमवार को बताया कि इस चरण का लॉकडाउन नौ दिनों का होगा और कुछ उद्योगों के कामकाज पर भी यह लागू होगा । इस अवधि के दौरान केवल जरूरी सेवा को इजाजत दी जाएगी। जिलाधिकारी उदय चौधरी ने यहां संवाददाताओं को बताया कि मध्य महाराष्ट्र के इस जिले में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच नागरिकों की मांग तथा विभिन्न हितधारकों के साथ बातचीत के बाद यह फैसला किया गया। उन्होंने कहा, ‘‘10 जुलाई से 18 जुलाई के बीच लॉकडाउन रहेगा। यह कड़ा लॉकडाउन होगा।’’ चौधरी ने कहा, ‘‘लॉकडाउन के लिए आम जनता ने मांग की थी लेकिन उद्योग, कारोबारी और अन्य हितधारकों तथा प्रशासन के अन्य अधिकारियों से बात करने के बाद सर्वसम्मति से यह फैसला किया गया।’’ उन्होंने कहा, ‘‘इस अवधि में उद्योग बंद रहेंगे । लेकिन प्रशासन लॉकडाउन के दौरान दवा उद्योग तथा अन्य इकाइयों का कामकाज जारी रखने के लिए रणनीति बनाएगा।’’ लॉकडाउन के बारे में पूछे जाने पर निगम आयुक्त आस्तिक कुमार पांडेय ने कहा, ‘‘इस अवधि के दौरान केवल दूध की दुकानों को खुलने की अनुमति होगी...बाकी सारी चीजें बंद रहेंगी। पेट्रोल पंप सीमित समय के लिए खुलेंगे।’’ एक अधिकारी ने बताया कि औरंगाबाद जिले में कोविड-19 के मरीजों की संख्या 6,880 हो गयी है और 310 लोगों की मौत हुई है। कुल मामलों में 3374 मरीज ठीक हो चुके हैं जबकि 3196 मरीजों का उपचार चल रहा है।

बिहार में कोरोना से अब तक 97 की मौत

बिहार में कोरोना वायरस के कारण पिछले 24 घंटों के दौरान सात और लोगों की मौत हो जाने से इस रोग से मरने वालों की संख्या बढ़कर 97 हो गयी वहीं अब तक संक्रमित हुए लोगों की संख्या सोमवार को बढकर 12,140 तक पहुंच गयी। स्वास्थ्य विभाग से प्राप्त जानकारी के मुताबिक कोरोना वायरस के कारण पिछले 24 घंटों के दौरान दरभंगा एवं समस्तीपुर जिले में दो—दो, भागलपुर, मुजफ्फरपुर एवं पूर्वी चंपारण में एक—एक व्यक्ति की मौत हो गयी। बिहार में कोरोना वायरस संक्रमण से अब तक जिन 97 लोगों की मौत हुयी है उनमें 12 मरीज पटना के थे। इसके अलावा दरभंगा में सात, समस्तीपुर में छह, भागलपुर, मुजफ्फरपुर, नालंदा, पूर्वी चंपारण, रोहतास एवं सारण में पांच-पांच, बेगूसराय में चार-चार, भोजपुर, गया, जहानाबाद, खगडिया, नवादा, सीतामढी एवं वैशाली में तीन-तीन मरीजों की मौत हुयी है। बिहार में पिछले 24 घंटों के भीतर कोरोना वायरस के 280 नए मामले सामने आने के साथ ही प्रदेश में कुल मामले बढकर 12,140 हो गये। बिहार के पटना जिले में अब तक कोरोना वायरस के 1058 मामले सामने आए हैं जबकि भागलपुर में 616, बेगूसराय में 528, मधुबनी में 511, मुजफ्फरपुर में 496, सिवान में 490, मुंगेर में 419, नालंदा में 384, दरभंगा में 383, समस्तीपुर एवं रोहतास में 377—377, कटिहार में 365, नवादा में 364 मामले सामने आए हैं। शेष मामले खगडिया, पूर्णिया, गोपालगंज, पश्चिम चंपारण, औरंगाबाद, सुपौल सहित अन्य जिलों से आए हैं। बिहार में अब तक 2,64,109 नमूनों की जांच की जा चुकी है और कोरोना वायरस से संक्रमित 9014 मरीज ठीक हो चुके हैं।

महाराष्ट्र में 5,368 नए मरीज आये सामने

महाराष्ट्र में सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 5,368 नए मामले सामने आने के साथ ही राज्य में संक्रमितों का आंकड़ा बढ़कर 2,11,987 तक पहुंच गया। राज्य स्वास्थ्य विभाग ने यह जानकारी दी। इसके मुताबिक, कोविड-19 के 204 और मरीजों की मौत के बाद इस घातक वायरस से जान गंवाने वालों की संख्या बढ़कर 9,206 हो गई। विभाग ने एक बयान में कहा कि स्वस्थ होने के बाद कोविड-19के 3,522 मरीजों को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई, जिसके साथ ही राज्य में अब तक इस बीमारी के 1,15,262 मरीज ठीक हो चुके हैं। फिलहाल राज्य में कोविड-19 के 87,681 मरीज उपचाराधीन हैं। मुम्बई की सबसे बड़ी झुग्गी बस्ती धारावी में 11 और लोग कोविड-19 से संक्रमित पाये गये जिससे वहा इस महामारी के मामले बढ़कर 2334 हो गये। बृहन्मुम्बई महानगरपालिका के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी। धारावी में फिलहाल कोविड-19 के केवल 509 मरीज ही उपचाराधीन हैं जबकि 1,735 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। वहां इस बीमारी से कितनी मौत हुई है, उसकी अद्यतन जानकारी उपलब्ध नहीं है। धारावी में एक अप्रैल को कोरोना वायरस का पहला मामला सामने आया था जबकि मुम्बई में पहले मामले का पता 11 मार्च को चला था। राज्य के अमरावती जिले में पांच और लोगों में कोरोना वायरस संक्रमण की पुष्टि होने के साथ ही जिले में संक्रमितों की संख्या 700 हो गयी है। दो मार्च तक इसके मामले 600 तक पहुंचे थे। एक अधिकारी ने बताया कि जिले में 27 मरीजों की जान जा चुकी है जबकि 462 मरीज स्वस्थ हो चुके है। जिले में पहला मामला चार अप्रैल को आया था।

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उप्र के आयुष मंत्री के परिजन भी संक्रमित

उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिला निवासी एवं राज्य के आयुष मंत्री डॉ. धर्मसिंह सैनी के कोरोना वायरस से संक्रमित पाए जाने के बाद उनके परिवार के कुछ सदस्यों की जांच रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई है। जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. बीएस सोढी ने बताया कि शनिवार को आयुष मंत्री संक्रमित पाए गए थे जिसके बाद उनके परिजनों को गृह पृथक-वास में रखकर जांच के लिए उनके नमूने लिए गए थे। सोढी ने बताया कि रविवार को जिन दस लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई, उनमें आयुष मंत्री की पत्नी और बेटा भी शामिल हैं। वहीं, सोमवार को जिन 15 लोगों की कोरोना वायरस संबंधी रिपोर्ट पॉजिटिव आई, उनमें मंत्री का पौत्र और उनके घर में काम करने वाला एक सहायक भी शामिल है। मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने बताया कि मंत्री के परिजनों को कोविड अस्पताल में भर्ती कराया गया है। नगर निगम मंत्री के घर के आसपास पूरे इलाके को संक्रमणमुक्त बनाने का कार्य कर रहा है। उन्होंने बताया कि जो लोग आयुष मंत्री के संपर्क में आए, उनका पता लगाकर उन्हें गृह पृथक-वास में रखा जा रहा है।

बंगाल सरकार ने इलाज के लिये नए नियम सुझाए

पश्चिम बंगाल सरकार ने राज्य के सभी कोविड-19 अस्पतालों को, रोगी को पारंपरिक वेंटिलेटर मशीन पर पर रखने से पहले जब और जैसे संभव हो 'प्रोन अवेक वेंटिलेशन' (पेट के बल सीधा लिटाकर ऑक्सीजन में सुधार) का विकल्प चुनने की सलाह दी है। स्वास्थ्य विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि ऐसा करने से कोरोना वायरस से बढ़ते मामलों के दौरान वेंटिलेटर मशीन के इस्तेमाल को कम किया जा सकता है। विभाग की ओर से जारी परामर्श में कहा गया है कि ‘प्रोन अवेक वेंटिलेशन’ को ‘प्रोन पोजिशनिंग वेंटिलेशन’ भी कहा जाता है। इस तरकीब का इस्तेमाल आमतौर पर आईसीयू में सांस लेने में गंभीर समस्या का सामना कर रहे रोगियों के लिये किया जाता है। इसका इस्तेमाल कोविड-19 रोगियों पर भी किया जाना चाहिये। अधिकारी ने कहा कि अगर यह काम नहीं करता है कि तो मरीज को पारंपरिक वेंटिलेटर पर रखा जाना चाहिये। अधिकारी ने कहा, 'हर दिन बढ़ते कोविड-19 मामलों के मद्देनजर हमारे पास हर समय मरीजों के लिए आईसीयू और वेंटिलेटर तैयार होने चाहिये। लेकिन राज्य में फिलहाल उपलब्ध वेंटिलेटर पर्याप्त नहीं हैं।' स्वास्थ्य विभाग के अनुसार पश्चिम बंगाल में उसके कोविड-19 अस्पतालों में फिलहाल 395 वेंटिलेटर और आईसीयू में 948 बिस्तर हैं। विभाग ने यह भी कहा कि 'संबंधित मामलों में उचित सलाह के लिए सुपर-स्पेशलिटी टीम उपलब्ध होनी चाहिए।'

-नीरज कुमार दुबे

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