मौजूदा बजट सत्र में लाया जाएगा पत्रकार सुरक्षा विधेयक : Baghel

Baghel
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उन्होंने सरकारी अधिकारियों और सत्ताधारी कांग्रेस पार्टी के नेताओं के परिसरों पर प्रवर्तन निदेशालय और आयकर द्वारा की गई छापेमारी को लेकर भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर निशाना साधा और कहा कि कार्रवाई का इरादा जांच करना नहीं है बल्कि उनकी सरकार को बदनाम करना है।

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बृहस्पतिवार को कहा कि छत्तीसगढ़ विधानसभा के मौजूदा बजट सत्र में पत्रकारों की सुरक्षा से संबंधित विधेयक पेश किया जाएगा। उन्होंने वित्तीय वर्ष 2022-23 के वार्षिक बजट के तहत अपने विभागों के लिए अनुदान मांगों पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए यह घोषणा की। उन्होंने सरकारी अधिकारियों और सत्ताधारी कांग्रेस पार्टी के नेताओं के परिसरों पर प्रवर्तन निदेशालय और आयकर द्वारा की गई छापेमारी को लेकर भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पर निशाना साधा और कहा कि कार्रवाई का इरादा जांच करना नहीं है बल्कि उनकी सरकार को बदनाम करना है।

बघेल के पास सामान्य प्रशासन, वित्त, ऊर्जा, खनिज संसाधन, जनसंपर्क, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी तथा विमानन विभाग है। बघेल ने कहा, ‘‘पत्रकार सुरक्षा कानून (विधेयक) मौजूदा बजट सत्र में लाया जाएगा।’’ उन्होंने मीडियाकर्मियों के हित में उनकी सरकार द्वारा उठाए गए कदमों की भी जानकारी दी। ईडी और आईटी के छापे को लेकर केंद्र पर निशाना साधते हुए बघेल ने कहा, ‘‘जिन्होंने कुछ भी गलत किया है उन्हें जेल में होना चाहिए। लेकिन जांच (केंद्रीय जांच एजेंसियों द्वारा) की जानी चाहिए और रिपोर्ट सामने आनी चाहिए। एक-एक कर छापेमारी की जा रही है, लेकिन कोई रिपोर्ट पेश नहीं की जा रही है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘कार्रवाई अगले साल लोकसभा चुनाव तक जारी रहेगी क्योंकि आपकी (केंद्र) जांच में दिलचस्पी नहीं है, बल्कि आपको बदनाम करने में दिलचस्पी है।’’ बघेल ने कहा कि जब भी वह और उनकी पार्टी के नेता छत्तीसगढ़ से दूसरे राज्यों में चुनाव प्रचार के लिए जाते हैं, तो छत्तीसगढ़ में छापे पड़ते हैं। हाल ही में जब रायपुर में कांग्रेस के महाधिवेशन का आयोजन किया गया था तब छापे मारे गए थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को पत्र लिखकर राज्य में पिछली रमन सिंह के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार के दौरान हुए कथित चिट फंड घोटालों की जांच की मांग की थी लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की गई।

बघेल ने केंद्र पर देश के सभी संस्थानों पर कब्जा करने और उन्हें दबाने की कोशिश करने का आरोप लगाया। चर्चा के बाद मुख्यमंत्री के विभागों से संबंधित अनुदान मांगों को विधानसभा में स्वीकृत कर दिया गया। ईडी छत्तीसगढ़ में कोयला लेवी मनी लॉन्ड्रिंग मामले की जांच कर रहा है और इस सिलसिले में अब तक राज्य में भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के एक अधिकारी और राज्य प्रशासनिक सेवा के एक अधिकारी सहित नौ लोगों को गिरफ्तार किया गया है।

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