कर्नाटक में 5 जुलाई से हर रविवार को रहेगा लॉकडाउन, विस्तार से जानें कौन-कौन से नियमों में हुई तब्दीली

Karnataka lockdown

विज्ञप्ति में कहा गया कि पांच जुलाई 2020 से प्रत्येक रविवार को पूर्ण लॉकडाउन होगा। इस दिन आवश्यक सेवाओं और आपूर्ति के अलावा किसी अन्य गतिविधि की अनुमति नहीं दी जाएगी

बेंगलुरु। कर्नाटक सरकार ने राज्य में कोरोना वायरस से संक्रमण के बढ़ते मामलों के मद्देनजर प्रत्येक रविवार को पूर्ण लॉकडाउन सहित कई फैसले लिए। रविवार को पूर्ण लॉकडाउन लागू करने का फैसला पांच जुलाई से लागू होगा। आधिकारिक विज्ञप्ति के मुताबिक सरकार ने सोमवार को रात आठ बजे से सुबह पांच बजे तक रात्रि कर्फ्यू लगाने का फैसला किया है। राज्य में कोविड-19 मरीजों की बढ़ती संख्या के मद्देनजर सख्त लॉकडाउन मांग के बीच मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा की अध्यक्षता में मंत्रियों और अधिकारियों के साथ हुई बैठक में ये फैसले लिए गए। 

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विज्ञप्ति में कहा गया, ‘‘ पांच जुलाई 2020 से प्रत्येक रविवार को पूर्ण लॉकडाउन होगा। इस दिन आवश्यक सेवाओं और आपूर्ति के अलावा किसी अन्य गतिविधि की अनुमति नहीं दी जाएगी। 10 जुलाई से दूसरे और चौथे शनिवार के स्थान पर प्रत्येक शनिवार को सभी सरकारी कार्यालय बंद रहेंगे।’’ बयान में कहा गया कि बृहद बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी)आयुक्त को निर्देश दिया गया कि वह अधिक संख्या में सब्जियों के थोक बाजार की व्यवस्था करें ताकि शहर की मौजूदा थोक सब्जी मंडियों में भीड़ एकत्र नहीं हो। विज्ञप्ति के मुताबिक बैठक में कोविड-19 मरीजों को भर्ती करने के लिए केंद्रीयकृत बिस्तर आवंटन प्रणाली स्थापित करने का फैसला किया गया।

मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि कोविड-19 मरीजों को लाने ले जाने के लिए एंबुलेंस की संख्या बढ़ाएं और संक्रमण की वजह से मरे लोगों के शवों को ले जाने के लिए अलग एंबुलेंस की व्यवस्था करें। उन्होंने अधिकारियों को पुलिस नियंत्रण कक्ष वायरलेस (बेतार) प्रणाली का इस्तेमाल स्थान की पहचान और एंबुलेंस के जल्दी पहुंचने में करने का निर्देश दिया। येदियुरप्पा ने अधिकारियों से कहा कि वे कोविड-19 प्रबंधन के लिए नियुक्त नोडल अधिकारियों की विस्तृत जानकारी प्रकाशित कराएं। बैठक में यह भी फैसला किया गया कि बेंगलुरु के आठ जोन के संयुक्त आयुक्तों को अधिक जिम्मेदारी दी जाए और उनकी सहायता के लिए कर्नाटक प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों की तैनाती की जाए। 

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विज्ञप्ति के मुताबिक श्रम विभाग द्वारा तैनात कर्मचारी राज्य बीमा के 180 डॉक्टरों को भी कोविड-19 मरीजों के इलाज में लगाया जाएगा और कोरोना वायरससंक्रमितों को समर्पित अस्पतालों और कोविड-19 देखरेख केंद्रों के लिए परिवीक्षाधीन तहसीलदारों को नोडल अधिकारी तैनात किया जाएगा। बैठक में बेंगलुरु स्थित विवाह घर, छात्रावास और अन्य संस्थानों को कोविड-19 देखरेख केंद्र के लिए आरक्षित किया जाएगा और रेलवे से कोविड-19 मरीजों को पृथक रखने के लिए तैयार विशेष बोगियां ली जाएंगी। बेंगलुरु शहर के उपायुक्त को निर्देश दिया गया है कि कोरोना वायरस पीड़ितों के अंतिम संस्कार के लिए और स्थानों की पहचान करें।

येदियुरप्पा ने अधिकारियों से कहा कि वे कोरोना वायरस से मौत होने वाले लोगों के अंतिम संस्कार के लिए टीमों का गठन करें। मुख्यमंत्री ने बैठक के दौरान कहा कि चिकित्सा महाविद्यालयों और निजी अस्पतालों के 50 प्रतिशत बिस्तरों को आरक्षित करने के लिए अधिसूचना जारी करने के साथ-साथ बीबीएमपी आयुक्त से कहा कि वह अस्पतालों को होटलों के साथ संबद्ध करने के लिए अधिसूचना जारी करें ताकि बिस्तरों की कमी नहीं हो।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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