गहलोत ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री से कोयला खनन के लिए जमीन दिलाने को कहा
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अडाणी समूह को प्रतिस्पर्द्धी बोली के जरिये इसके खदान विकास एवं परिचालन के लिए चुना गया था। गहलोत के इस पत्र के मुताबिक, वन विभाग को मई, 2022 में छत्तीसगढ़ के सरगुजा जिले में 134.84 हेक्टेयर जमीन पर खनन की मंजूरी दी गई थी लेकिन अभी तक सिर्फ 43.63 हेक्टेयर जमीन ही राजस्थान की सरकारी इकाई को सौंपी गई है।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को पत्र लिखकर अपने कोयला ब्लॉक के विस्तार के लिए जमीन आवंटन में तेजी लाने का अनुरोध किया है। गहलोत ने बघेल को लिखे पत्र में कहा है कि राजस्थान को बिजली उत्पादन के लिए आवंटित छत्तीसगढ़ के दो कोयला ब्लॉक का अभी तक समुचित विकास नहीं हो पाया है। गहलोत ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री से इस दिशा में आ रही अड़चनों को दूर करने का अनुरोध किया है। पीटीआई-के पास इस पत्र की एक प्रति उपलब्ध है। इस साल चौथी बार राजस्थान के मुख्यमंत्री ने बघेल को इस बारे में पत्र लिखा है।
उन्होंने परसा ईस्ट एंड कांटा बासन ब्लॉक के विस्तार के लिए स्वीकृत योजना के अनुरूप जमीन दिलाने में दखल देने का आग्रह किया है।इस ब्लॉक से 1.5 करोड़ टन कोयला का उत्पादन होता है और दूसरे ब्लॉक परसा एंड केंते एक्सटेंशन को खोलने पर उत्पादन दोगुना हो जाएगा। गहलोत ने कहा कि ऐसा नहीं होने से राजस्थान के ताप-विद्युत संयंत्रों से होने वाले बिजली उत्पादन पर बुरा असर पड़ रहा है और राज्य को हाजिर बाजार से महंगी दरों पर बिजली खरीदनी पड़ रही है।
राजस्थान राज्य ऊर्जा विकास निगम लिमिटेड को वर्ष 2007 में केंद्र सरकार ने परसा ईस्ट कांता बासन ब्लॉक आवंटित किया था। अडाणी समूह को प्रतिस्पर्द्धी बोली के जरिये इसके खदान विकास एवं परिचालन के लिए चुना गया था। गहलोत के इस पत्र के मुताबिक, वन विभाग को मई, 2022 में छत्तीसगढ़ के सरगुजा जिले में 134.84 हेक्टेयर जमीन पर खनन की मंजूरी दी गई थी लेकिन अभी तक सिर्फ 43.63 हेक्टेयर जमीन ही राजस्थान की सरकारी इकाई को सौंपी गई है।
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