जम्मू कश्मीर से जवानों को हटाने की तत्काल कोई योजना नहीं: गृह राज्य मंत्री रेड्डी

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[email protected] । Aug 22 2019 9:35AM

रेड्डी ने कहा कि विपक्षी नेताओं को जम्मू कश्मीर में सभाएं करने के लिए कुछ दिन का इंतजार करना चाहिए क्योंकि केंद्र ने वहां कानून व्यवस्था की स्थिति खराब करने की पाकिस्तान की बदनीयत के मद्देनजर कुछ पाबंदियां लागू कर रखी हैं।

हैदराबाद। केंद्रीय गृह राज्य मंत्री जी किशन रेड्डी ने बुधवार को यहां कहा कि केंद्र सरकार की जम्मू कश्मीर से सुरक्षा बलों को वापस बुलाने की तत्काल कोई योजना नहीं है। रेड्डी ने कहा, ‘‘हम वहां से फौरन सैनिक वापस क्यों बुलाएंगे जबकि पाकिस्तान उकसाने की कोशिश कर रहा है।’’ उन्होंने कहा कि पाकिस्तान कश्मीरियों को उकसाने और शांति का माहौल खराब करने की कोशिश कर रहा है ताकि वह अंतरराष्ट्रीय समुदाय तक अपनी बात पहुंचा सके। रेड्डी ने कहा कि सैनिकों को वापस बुलाया जाए या नहीं, यह फैसला स्थानीय प्रशासन लेगा। उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर में हालात अब शांतिपूर्ण हैं तथा गृह मंत्री अमित शाह हालात पर नियमित नजर रख रहे हैं। उन्होंने कहा कि स्कूल खुल गये हैं। कुछ जगहों पर धारा 144 हटा ली गयी है। सरकारी दफ्तरों में कामकाज शुरू हो गया है। हम धीर-धीरे कुछ पाबंदियों को कम कर रहे हैं। कुछ जिलों को छोड़कर बाकी जगहों पर इंटरनेट और टेलीफोन सेवाएं बहाल कर दी गयी हैं।

रेड्डी ने कहा कि विपक्षी नेताओं को जम्मू कश्मीर में सभाएं करने के लिए कुछ दिन का इंतजार करना चाहिए क्योंकि केंद्र ने वहां कानून व्यवस्था की स्थिति खराब करने की पाकिस्तान की बदनीयत के मद्देनजर कुछ पाबंदियां लागू कर रखी हैं। रेड्डी ने कहा कि पाकिस्तान चाहता है कि जम्मू कश्मीर में शांति बाधित हो और वह दुनिया को कह सके कि कश्मीर को लेकर भारत सरकार के निर्णय गलत हैं। जम्मू कश्मीर के हालात और वहां हिंसा की खबरों पर प्रतिक्रिया देते हुए उन्होंने कहा कि छोटी-मोटी घटनाएं पहली बार नहीं हो रहीं। उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर में कोई तनावपूर्ण हालात नहीं हैं जहां महीनों तक कर्फ्यू रहता था और पहले भी नेता सालों तक जेल में रहते थे। रेड्डी ने यहां एक कार्यक्रम से इतर संवाददाताओं से कहा, ‘‘यह नयी बात नहीं है। हमने जम्मू कश्मीर में किसी भी तरह से कानून व्यवस्था अवरुद्ध करने की साजिश रचने और स्थिति को भड़काने की पाकिस्तान की मंशाओं को ध्यान में रखते हुए ऐहतियातन कदम के तौर पर पाबंदी लागू करने जैसे निर्णय लिये हैं। लोगों को परेशान करने के लिए यह कदम नहीं उठाए गए हैं।’’ उन्होंने कहा कि पहले भी कर्फ्यू लगाने, निषेधाज्ञा लागू करने, महीनों तक स्कूल बंद रहने और मुख्यमंत्रियों की गिरफ्तारी के कई वाकये हुए हैं।

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रेड्डी ने कहा कि अतीत की तुलना में तो अभी इस तरह का कोई फैसला नहीं हुआ है। उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तान दुनिया के सामने यह साबित करने की भरसक साजिश रच रहा है कि भारत सरकार ने जो किया है वह गलत है। क्योंकि आज पूरी दुनिया भारत के पक्ष में है। क्योंकि दुनिया अनुच्छेद 370 को समाप्त करने के विषय में भारत सरकार द्वारा लिये गये फैसलों के साथ खड़ी है।’’ जब रेड्डी से पूछा गया कि विपक्ष के नेताओं को राज्य में सभाएं क्यों नहीं करने दी जा रहीं तो उन्होंने कहा कि सरकार ने पाकिस्तान के इरादों को देखते हुए ऐहतियाती कदम उठाये हैं और विपक्षी नेताओं को धैर्य रखना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘‘बहुत वक्त है। आप जम्मू कश्मीर जा सकते हैं। कुछ दिन शांति रखिए। अभी पाकिस्तान की समस्या को देखते हैं। उसके बाद राहुल गांधी कितनी भी सभाएं कर सकते हैं। मना कौन कर रहा है? धीरज तो रखिए।’’ रेड्डी ने कहा, ‘‘आप हड़बड़ी में क्यों हैं? एक तरफ पाकिस्तान दुनिया को यह बताने की पूरी कोशिश कर रहा है कि अमन नहीं है। अब विपक्षी पार्टी भी पाकिस्तान के साथ जाना चाहती हैं। यह गलत है।’’ जम्मू कश्मीर में नेताओं को रिहा किये जाने के सवाल पर मंत्री ने कहा कि इस विषय पर संबंधित अधिकारी निर्णय करेंगे।

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