राहुल गांधी को मोहरा बना रही हैं प्रतिस्पर्धी रक्षा कंपनियां: भाजपा

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भाजपा ने कहा कि, प्रतिस्पर्धी रक्षा कंपनियां राहुल गांधी को मोहरा बना रही हैं।पात्रा ने कहा कि यह कुछ वैसा ही है जैसा कि कोई मामला भारत में किसी सक्षम प्राधिकारी के पास आए और वह फाइल में टिप्पणी में लिखे कि ‘‘इसके अनुरूप काम किया जाए’’।

नयी दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने शनिवार को आरोप लगाया कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी को प्रतिस्पर्धी रक्षा कंपनियां ‘‘मोहरा’’ बना रही हैं और साथ ही दावा किया कि देश को ‘‘कमजोर’’ करने के प्रयास के तहत वह और कांग्रेस पार्टी राफेल विमान सौदे में भ्रष्टाचार के आरोप लगाते रहे हैं। भाजपा मुख्यालय में आयोजित एक संवाददाता सम्मेलन में भाजपा प्रवक्ता संबित पात्रा ने भारत के साथ 59,000 करोड़ रुपये के राफेल विमान सौदे में कथित ‘‘भ्रष्टाचार और लाभ पहुंचाने’’ के मामले में फ्रांस के एक न्यायाधीश को सौंपी गई न्यायिक जांच की जिम्मेदारी को यह कहते हुए तवज्जो नहीं दी कि एक गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) की शिकायत पर ऐसा किया गया है। उन्होंने कहा कि इसे भ्रष्टाचार के मामले में रूप में नहीं देखा जाना चाहिए।

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पात्रा ने कहा कि यह कुछ वैसा ही है जैसा कि कोई मामला भारत में किसी सक्षम प्राधिकारी के पास आए और वह फाइल में टिप्पणी में लिखे कि ‘‘इसके अनुरूप काम किया जाए’’। उन्होंने इस मामले को लेकर कांग्रेस पर झूठ और अफवाहे फैलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस झूठ और अफवाहे फैलाने का दूरा नाम बन गई है। पात्रा ने कहा, ‘‘राहुल गांधी जिस प्रकार का व्यवहार कर रहे हैं, यह कहना अतिश्योक्ति नहीं होगी कि प्रतिस्पर्धी कंपनियां उन्हें मोहरे के रूप में इस्तेमाल कर रही है। वह इस मसले पर शुरू से ही झूठ बोल रहे हैं। संभवत: वह एक एजेंट के रूप में काम कर रहे हैं या गांधी परिवार का कोई सदस्य प्रतिस्पर्धी कंपनी के लिए काम कर रहा है।’’ कांग्रेस ने फ्रांस में राफेल विमान सौदे में कथित भ्रष्टाचार की न्यायिक जांच आरंभ होने के दावे वाली रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सामने आना चाहिए और संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) से जांच करानी चाहिए।

पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने यह दावा भी किया कि नए खुलासे से कांग्रेस और उसके पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की यह बात सच साबित हुई कि इस लड़ाकू विमान सौदे में ‘घोटाला’ हुआ है। गौरतलब है कि फ्रांस की समाचार वेबसाइट ‘मीडिया पार्ट’ की रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत के साथ 59000 करोड़ रुपये के राफेल विमान सौदे में कथित भ्रष्टाचार के मामले में फ्रांस के एक न्यायाधीश को ‘बहुत संवेदशील’ न्यायिक जांच की जिम्मेदारी सौंपी गई है। बहरहाल, पात्रा ने नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) रिपोर्ट और उच्चतम न्यायालय के एक फैसले का हवाला देते हुए कहा कि दोनों ने पाया है कि इस रक्षा सौदे में कुछ भी गलत नहीं हुआ है। उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनावों के परिणामों का उल्लेख करते हुए कहा कि सरकार को न्यायिक फैसले में भी जीत मिली और चुनावी फैसले में भी।

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ज्ञात हो कि 2019 के चुनाव में कांग्रेस ने राफेल में भ्रष्टाचार के आरोपों को प्रमुख मुद्दा बनाया था लेकिन इसके बावजूद भाजपा ने 303 सीटों पर जीत हासिल कीथी। भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने नवंबर 2019 के अपने फैसले में कहा था कि राफेल संबंधी आरोपों की जांच नहीं हो सकती और आरोप लगाया कि राहुल गांधी इसके बावजूद मामले को बार बार उठा रहे हैं। शीर्ष अदालत ने 36 राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद की अदालत की निगरानी में जांच कराने की मांग वाली एक याचिका का खारिज करने के दौरान उक्त टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस इसलिए निकृष्ट राजनीति कर रही है क्योंकि राहुल गांधी का प्रतिस्पर्धी रक्षा कंपनियों के साथ करार है और वह भारत को कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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