राज्यसभा के मार्शल दिखे नये कलेवर में, 250वें सत्र से ड्रेस में हुआ बदलाव
आज ही राज्यसभा ने अपना 250वां सत्र पूरा किया है। राज्य सभा का पहला सेशन 1952 में हुआ था। लिहाजा इस मौके को यादगार और खास बनाने के लिए मार्शल की ड्रेस में बदलाव लाए गए।
नयी दिल्ली। राज्यसभा के 250वें सत्र के प्रारंभ होने पर सोमवार को आसन का नजारा कुछ बदला सा लग रहा था। यह बदलाव आसन की सहायता के लिए मौजूद रहने वाले मार्शलों की एकदम नयी वेषभूषा के कारण महसूस हुआ।आम तौर पर उच्च सदन की बैठक आसन की मदद करने वाले कलगीदार पगड़ी पहने किसी मार्शल के सदन में आकर यह पुकार लगाने से शुरू होती है कि ‘‘माननीय सदस्यों, माननीय सभापति जी।’’किंतु सोमवार को इन मार्शलों के सिर पर पगड़ी की बजाय गहरे हरे रंग : ऑलिव ग्रीन : की ‘‘पी-कैप’’ थी। साथ ही उन्होंने गहरे हरे रंग : ऑलिव ग्रीन : की आधुनिक सुरक्षाकर्मियों वाली वर्दी धारण कर रखी थी।
Delhi: The uniform of the marshals of the Rajya Sabha has been changed, this #WinterSession of the Parliament. (Pic 1- new uniform, Pic 2 - old uniform) pic.twitter.com/Ihr7TvLVKs
— ANI (@ANI) November 18, 2019
राज्यसभा सचिवालय के सूत्रों ने बताया कि इस बारे में किए गए उच्चस्तरीय फैसले के बाद मार्शल के लिये जारी ड्रेस कोड के तहत सदन में तैनात मार्शलों को कलगी वाली सफेद पगड़ी और पारंपरिक औपनिवेशिक परिधान की जगह अब गहरे हरे रंग की वर्दी और कैप पहननी होगी। राज्यसभा सचिवालय के सूत्रों के अनुसार पिछले कई दशकों से चल रहे इस ड्रेस कोड में बदलाव की मांग मार्शलों ने ही की थी। उल्लेखनीय है कि सभापति सहित अन्य पीठासीन अधिकारियों की सहायता के लिये लगभग आधा दर्जन मार्शल तैनात होते हैं। एक अधिकारी ने बताया कि मार्शलों ने उनके ड्रेस कोड में बदलाव कर ऐसा परिधान शामिल करने की मांग की थी जो पहनने में सुगम और आधुनिक ‘लुक’ वाली हो। इनकी मांग पर को स्वीकार कर राज्य सचिवालय और सुरक्षा अधिकारियों ने नयी ड्रेस को डिजायन करने के लिये कई दौर बैठकें कर नये परिधान को अंतिम रूप दिया।सूत्रों के अनुसार मार्शलों ने इस बदलाव पर खुशी जाहिर की है।
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