Bhindranwale 2.0: गृह मंत्री को दी थी धमकी, अलग खालिस्तान के निर्माण की करता है वकालत, कौन है अलगाववादी नेता अमृत पाल सिंह?

Amrit Pal Singh
Prabhasakshi
अभिनय आकाश । Feb 23 2023 7:06PM

अमृत ​​पाल सिंह ने सिख धर्म को बढ़ावा देने के लिए हाल ही में एक महीने तक चलने वाले मार्च 'पंथिक वहीर' की शुरुआत की।

अलगाववादी खालिस्तानी समूह 'वारिस पंजाब दे' का स्वयंभू प्रमुख अमृत पाल सिंह खुद को जरनैल सिंह भिंडरावाले 2.0 के रूप में स्थापित करने की कोशिश कर रहा है। भिंडरावाले का नया अवतार भारी हथियारों से लैस निहंग सिखों की एक सेना के साथ चलता है जो जहां भी जाते हैं उस पर फूलों की पंखुड़ियां बरसाते हैं और भड़काऊ गाने गाते हैं। अमृत पाल सिंह ने हाल ही में स्वर्ण मंदिर परिसर दरबार साहिब में अपने भारी हथियारों से लैस लोगों के समूह 'फौजान' के साथ प्रवेश किया। अमृत ​​पाल सिंह ने सिख धर्म को बढ़ावा देने के लिए हाल ही में एक महीने तक चलने वाले मार्च 'पंथिक वहीर' की शुरुआत की। देश की सुरक्षा एजेंसियां ​​इस कट्टरपंथी अलगाववादी सिख की गतिविधियों पर नजर रख रही हैं, जो कथित तौर पर धर्म की आड़ में और नशा उन्मूलन के लिए अपने अलगाववादी एजेंडे को आगे बढ़ा रहा।

इसे भी पढ़ें: Punjab: अमृतपाल समर्थकों का अमृतसर में भारी बवाल, तलवारों और बंदूक के साथ थाने पर हमला, दी यह धमकी

सिंह अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए खुले तौर पर एक अलग खालिस्तान के निर्माण की वकालत करता रहता है। वो कहता है कि सरकार जो कुछ भी कर रही है वही हिटलर ने यहूदियों के साथ किया। दिल्ली ने हमारे नरसंहार का मास्टरमाइंड बनाया। हिंदुओं, मुसलमानों और ईसाइयों के अपने देश हैं। इसलिए अगर सिख अपनी मातृभूमि के लिए लड़ते हैं तो इसमें कुछ भी गलत नहीं है। हम गुलाम हैं और एक हिंदू सरकार द्वारा शासित हैं। सिखों और अन्य लोगों के लिए अलग कानून हैं।

सरकार को चुनौती दी

अमृत ​​पाल सिंह और उनके समर्थकों पर न केवल अत्याधुनिक आग्नेयास्त्रों और तलवार सहित धारदार हथियारों को सार्वजनिक रूप से लहराने, बल्कि उन पर लोगों को धमकाने का भी आरोप लगाया गया है। मोगा पुलिस ने सोशल मीडिया पर हथियार दिखाने के आरोप में भगवंत सिंह उर्फ ​​प्रधानमंत्री बजाके के खिलाफ मामला दर्ज किया है। उस पर भारतीय दंड संहिता और शस्त्र अधिनियम, 1959 की संबंधित धाराओं के तहत आरोप लगाए गए हैं। दिलचस्प बात यह है कि उनके पास हथियार रखने का लाइसेंस नहीं है। लुधियाना पुलिस ने पंजाब कांग्रेस प्रमुख अमरिंदर सिंह राजा वारिंग को धमकियां देने के मामले में कथित रूप से अमृत पाल सिंह के करीबी अमृत पाल सिंह मेहरून पर आरोप लगाया है। अमृत ​​पाल सिंह के समर्थकों के खिलाफ कार्रवाई ने उसे नाराज कर दिया है। कई लोगों ने सोशल मीडिया पर पुलिस को उन्हें गिरफ्तार करने की चुनौती भी दी। 

इसे भी पढ़ें: Fatehgarh Sahib में पुलिस मुठभेड़ में बदमाश और उसके दो साथी मारे गए

गृह मंत्री को दी थी धमकी

हाल ही में पंजाब के मोगा में अमृतपाल सिंह के एक बयान से सनसनी मच गई थी। दरअसल खालिस्तानी मूवमेंट को लेकर गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था कि पंजाब में खालिस्तान समर्थकों पर हमारी नजर है। इसपर जब अमृतपाल से सवाल किया गया तो उसने कहा था- पंजाब का हर बच्चा खालिस्तान की बात करता है। जिसे जो करना है कर ले। हमें इंदिरा गांधी तक न हटा सकी और न ही मोदी या अमित शाह हटा सकता है। हम मरते मर जाएंगे, लेकिन अपना दावा नहीं छोड़ेंगे।

पंजाब पुलिस अमृत पाल सिंह पर नरम?

पंजाब पुलिस ने हाल ही में आग्नेयास्त्रों के लाइसेंस की समीक्षा के लिए एक अभियान शुरू किया और आग्नेयास्त्रों और हथियारों के सार्वजनिक और सोशल मीडिया प्रदर्शन पर प्रतिबंध लगा दिया। जहाँ तक आग्नेयास्त्रों के महिमामंडन का संबंध है, अमृत पाल सिंह पर नरमी बरत रही है। अमृत पाल सिंह के लुधियाना स्थित समर्थक अमृत पाल मेहरोन पर एक कांग्रेस नेता को धमकी देने का आरोप लगाया गया था, सिंह के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई, जिन्होंने सोशल मीडिया पर मेहरोन के साथ बंदूक के साथ फोटो खिंचवाई। पंजाब के शीर्ष पुलिस अधिकारी गौरव यादव ने मीडिया से बात करते हुए स्पष्ट किया कि बन्दूक ले जाने और उसे लहराने में अंतर है। यादव ने कहा कि कानून सबके लिए समान है। नफरत भरे भाषणों के जरिए किसी को भी राज्य में माहौल खराब करने की इजाजत नहीं दी जाएगी। आग्नेयास्त्रों के सार्वजनिक और सोशल मीडिया प्रदर्शन पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। 

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़