Emotional vs Physical, किस धोखे का घाव होता है सबसे गहरा? जानें एक्सपर्ट राय

बॉलीवुड सितारों काजोल और ट्विंकल खन्ना के बीच शुरू हुई बहस ने शारीरिक या भावनात्मक धोखे में से कौन ज्यादा दर्द देता है, इस पर गहरी चर्चा छेड़ दी है। विशेषज्ञ मानते हैं कि जहां शारीरिक धोखा शरीर का भरोसा तोड़ता है, वहीं भावनात्मक धोखा रिश्ते की कहानी और विश्वास को अधिक गहराई से चोट पहुँचाता है, जिसका असर लंबे समय तक रहता है। यह मनोविज्ञान के अनुसार, किसी और को वह भावनात्मक नजदीकी देने के विश्वासघात से उपजा है जो सिर्फ साथी की होनी चाहिए थी।
हाल ही में बॉलीवुड की दो मशहूर अभिनेत्रियां, काजोल और ट्विंकल खन्ना, के बीच शारीरिक और भावनात्मक धोखे को लेकर बहस हुई, जो चर्चा का विषय बन गई। वहीं, हॉलीवुड गायक जस्टिन बीबर का कहना है कि अगर आप किसी महिला को वासना की नजर से देखते हैं, तो वह भी धोखा है यानी भावनात्मक धोखा। तो आइए, धोखे की इस दुनिया को थोड़ा और समझते हैं।
एक ही सिक्के के दो पहलू
धोखा, धोखा ही होता है, चाहे वह शारीरिक हो या भावनात्मक। दोनों एक ही सिक्के के दो पहलू हैं। फिर भी, बहुत से लोग जानना चाहते हैं कि इनमें से कौन-सा ज्यादा दर्द देता है? दोनों ही रिश्ते की बुनियाद को हिला देते हैं, बस फर्क इतना है कि एक दिल को चोट पहुंचाता है और दूसरा विश्वास को तोड़ देता है।
जब दिल किसी और के लिए धड़के
सबसे पहले बात करते हैं भावनात्मक धोखे की। जब कोई इंसान अपने साथी से ज्यादा जुड़ाव किसी और से महसूस करने लगे, अपनी बातें, राज, या भावनाएं किसी तीसरे व्यक्ति से साझा करने लगे तो यह भावनात्मक धोखा कहलाता है। इसमें शारीरिक नजदीकी नहीं होती, लेकिन दिल किसी और के लिए धड़कने लगता है। कई बार यह धोखा ज्यादा दर्दनाक होता है, क्योंकि इसमें विश्वास और प्यार धीरे-धीरे टूटते हैं।
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जब रातें किसी और के साथ कटें
अब बात करते हैं शारीरिक धोखे की। यह तब होता है जब कोई व्यक्ति अपने साथी को छोड़ किसी और के साथ शारीरिक रूप से जुड़ता है। इसमें धोखा साफ दिखाई देता है और अक्सर यह रिश्ते को तुरंत तोड़ देता है। कुछ लोगों के लिए यह सबसे बड़ी बेवफाई मानी जाती है।
भावनात्मक बनाम शारीरिक धोखा
धोखा किसी भी रूप में हो, दर्द तो देता ही है। फिर भी, अगर दोनों की गहराई से तुलना करें, तो भावनात्मक धोखा ज्यादा गहरा और लंबे समय तक असर करने वाला माना जाता है। समाज आमतौर पर शारीरिक धोखे की ज्यादा कड़ी निंदा करता है, क्योंकि यह साफ नजर आता है और आसानी से पकड़ा जा सकता है। लेकिन सच्चाई यह है कि धोखे के दोनों रूप रिश्ते की असली नींव, भरोसे और अपनेपन को तोड़ देते हैं।
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कौन-सा धोखा ज्यादा दुख देता है?
विशेषज्ञ कहते हैं, 'शारीरिक धोखा शरीर में भरोसा तोड़ता है, जबकि भावनात्मक धोखा कहानी में भरोसा तोड़ देता है।' यानी एक शरीर से और दूसरा दिल से जुड़ा होता है।
कई लोग मानते हैं कि एक रात की गलती माफ की जा सकती है, लेकिन किसी छिपे हुए भावनात्मक रिश्ते का दर्द बहुत गहरा होता है। ऐसा रिश्ता धीरे-धीरे दिल से भरोसा और जुड़ाव दोनों छीन लेता है। मनोवैज्ञानिकों का मानना है कि भावनात्मक धोखा स्पर्श के धोखे से कहीं ज्यादा गहरी चोट देता है।
विशेषज्ञ बताते हैं कि अक्सर लोग इस सोच से सबसे ज्यादा आहत होते हैं कि उनका साथी 'किसी और को वो नजदीकी दे रहा है जो सिर्फ मेरी होनी चाहिए थी।' यह एक तरह से उस 'हम दोनों की दुनिया' के साथ किया गया विश्वासघात है, जिसे उन्होंने मिलकर बनाया था।
आखिर में, विशेषज्ञ यही मानते हैं कि इसका कोई सीधा जवाब नहीं है। सबसे बुरा धोखा वही होता है, जो उस व्यक्ति के लिए सबसे अहम चीज छीन लेता है।
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