सत्तारूढ़ NDA को अप्रैल में राज्यसभा में प्राप्त हो सकता है बहुमत

Rajya Sabha
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भारतीय जनता पार्टी नीत राजग के सदस्यों की संख्या अभी 113 है और इस साल अप्रैल में सभी मनोनीत सदस्यों के शपथ लेने के बाद 245 सदस्यीय सदन में उसके सदस्यों की संख्या 123 के बहुमत के आंकड़े को छू लेगी। वर्तमान में, केवल छह सांसद हैं जिन्हें राष्ट्रपति द्वारा राज्यसभा के सदस्य के रूप में नामित किया गया और उनमें से कुछ सदस्य बाद में भाजपा में शामिल हो गए।

नयी दिल्ली। सत्तारूढ़ भाजपा के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को इस साल अप्रैल में राज्यसभा में बहुमत मिलने की संभावना है। मनोनीत श्रेणी के तहत छह रिक्त पद भरे जाने और नवनिर्वाचित सदस्यों के शपथ लेने के बाद सत्तारूढ़ गठबंधन बहुमत में आ सकता है। राज्यसभा सचिवालय के आंकड़ों के अनुसार भाजपा के 94 सदस्य हैं और हाल में संपन्न चुनाव में उसकी सीट संख्या में दो की बढ़त हुई है और अब कुल सदस्य संख्या 96 हो गई है। 

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत राजग के सदस्यों की संख्या अभी 113 है और इस साल अप्रैल में सभी मनोनीत सदस्यों के शपथ लेने के बाद 245 सदस्यीय सदन में उसके सदस्यों की संख्या 123 के बहुमत के आंकड़े को छू लेगी। वर्तमान में, केवल छह सांसद हैं जिन्हें राष्ट्रपति द्वारा राज्यसभा के सदस्य के रूप में नामित किया गया और उनमें से कुछ सदस्य बाद में भाजपा में शामिल हो गए। 

सदन में कुल 12 मनोनीत सदस्य होते हैं। आंकड़ों से पता चलता है कि कुछ निर्दलीय और मनोनीत सदस्यों के समर्थन से राजग आखिरकार इस साल अप्रैल में जादुई आंकड़े को प्राप्त कर लेगा और इस तरह उसे उच्च सदन में महत्वपूर्ण कानून पारित कराने में मदद मिलेगी। उसके पास अब तक उच्च सदन में बहुमत नहीं था। हाल में 15 राज्यों में राज्यसभा की 56 सीट के लिए चुनाव हुआ जिनमें से भाजपा ने 30 सीट पर जीत दर्ज की है। 

नौ सीट पर कांग्रेस ने, दो पर समाजवादी पार्टी ने, चार पर तृणमूल कांग्रेस ने, तीन पर वाईएसआरसीपी ने, दो पर राष्ट्रीय जनता दल ने, दो पर बीजू जनता दल ने जीत प्राप्त की। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, शिवसेना, भारत राष्ट्र समिति और जनता दल-यूनाइटेड के खाते में एक-एक सीट आई। कांग्रेस के राज्यसभा सदस्यों की संख्या 30 तक सिमट सकती है और इस तरह संयुक्त विपक्ष के उच्च सदन में 100 से भी कम सांसद रहेंगे। सत्तारूढ़ गठबंधन के लिए उच्च सदन में बहुमत प्राप्त करना बहुत महत्वपूर्ण है। विगत वर्षों में संख्याबल की कमी की वजह से कई महत्वपूर्ण विधेयक उच्च सदन में अटक चुके हैं।

डिस्क्लेमर: प्रभासाक्षी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।


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