'शरद पवार को केंद्र के एक मंत्री दे रहे धमकी', संजय राउत बोले- क्या ऐसी धमकियों को PM मोदी का है समर्थन ?

Sanjay Raut
प्रतिरूप फोटो
ANI Image

शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा कि संख्या बल कागज़ में ज़्यादा हो सकती है लेकिन अब यह लड़ाई क़ानूनी लड़ाई होगी। हमारे जिन 12 लोगों ने बगावत शुरू की है उनके ख़िलाफ़ कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की है जिसके लिए हमारे लोगों ने सभापति से मुलाकात की है।

मुंबई। महाराष्ट्र में सियासी उठापटक अभी तक किसी नतीजे पर नहीं पहुंच पाया है। ऐसे में गुवाहाटी में डेरा जमाए हुए शिवसेना के 37 बागी विधायकों ने डिप्टी स्पीकर नरहरि जिरवाल को पत्र लिखा है, जिसमें कहा गया कि एकनाथ शिंदे सदन में उनके नेता रहेंगे। इसी बीच शिवसेना सांसद और नेता संजय राउत का बयान सामने आया। जिसमें उन्होंने राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) प्रमुख शरद पवार के लिए अभद्र भाषा का इस्तेमाल करने वालों को चेताया। 

इसे भी पढ़ें: शह और मात के खेल में उतरे पवार, क्या संजीवनी बूटी देकर संकट से उद्धव को बचा पाएंगे ? 

समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा कि एकनाथ शिंदे गुट जो हमें चुनौती दे रहा है, उसे यह महसूस करना चाहिए कि शिवसेना के कार्यकर्ता अभी सड़कों पर नहीं उतरे हैं। इस तरह की लड़ाई या तो कानून के जरिए लड़ी जाती है या सड़कों पर। जरूरत पड़ी तो हमारे कार्यकर्ता सड़कों पर उतरेंगे।

उन्होंने कहा कि संख्या बल कागज़ में ज़्यादा हो सकती है लेकिन अब यह लड़ाई क़ानूनी लड़ाई होगी। हमारे जिन 12 लोगों ने बगावत शुरू की है उनके ख़िलाफ़ कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की है जिसके लिए हमारे लोगों ने सभापति से मुलाकात की है। उन्होंने कहा कि (शरद) पवार साहब को धमकियां देने का काम चल रहा है। अमित शाह और मोदी जी आप के मंत्री पवार साहब को धमकी दे रहे हैं। क्या ऐसी धमकियों को आपका समर्थन है ? 

इसे भी पढ़ें: शिवसेना के 37 बागी विधायकों ने विधानसभा उपाध्यक्ष को पत्र भेजा, शिंदे को अपना नेता घोषित किया 

दरअसल, केंद्रीय मंत्री नारायण राणे ने कहा था कि शरद पवार (बागी) विधायकों को धमका रहे हैं कि उन्हें महाराष्ट्र विधानसभा आना चाहिए। वे अवश्य वापस आएंगे और अपनी इच्छा के अनुसार मतदान करेंगे। अगर उन्हें किसी तरह का नुकसान हुआ तो घर जाना मुश्किल होगा। शरद पवार का नाम लिए बिना उन्होंने कहा था कि कुछ ऐसे लोग हैं, जिनका समय-समय पर बगावत करने का लंबा इतिहास रहा है।

We're now on WhatsApp. Click to join.
All the updates here:

अन्य न्यूज़